पीएम मोदी ने कहा कि मैं बहुत स्पष्ट कहूंगा कि जिन्होंने यह हमला किया है, उन आतंकियों और इसकी साजिश रचने वालों को उनकी कल्पना से भी बड़ी सजा मिलेगी। इन लोगों को सजा मिलकर रहेगी। अब आतंकियों की बची-खुची जमीन को भी मिट्टी में मिलाने का समय आ गया है।
बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने फिर कहा है कि बीच में गड़बड़ी हो गई लेकिन अब कभी भी महाबंधन में या लालू, कांग्रेस की
दोपहर करीब डेढ़ बजे एकता चौक से जुलूस गुजर रहा था। इसी दौरान अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री मो. जमा खां का काफिला गुजर रहा था। जुलूस में शामिल लोगों द्वारा मंत्री मुर्दाबाद का नारा लगाया गया।
पटना में मरीन ड्राइव के आसपास पक्षियों की अधिकता के कारण रिहर्सल कार्यक्रम सही तरीके से नहीं हो पाया था। लेकिन, बुधवार को यह समस्या नहीं आएगी। पारा ग्लाइडिंग में वायु सेना के 10 जवान शामिल रहेंगे जो हाथ में तिरंगा और बाबू वीर कुंवर सिंह की तस्वीर लेकर जमीन पर लैंड करेंगे।
अब जनता दल यूनाइटेड के एक विधायक ने निशांत को लेकर बड़ा दावा किया है। जदयू विधायक गोपाल मंडल (JDU MLA Gopal Mandal) ने दावा किया है कि निशांत को राजनीति में वो ही लेकर आए हैं। गोपाल मंडल ने कहा कि अगर निशांत जदयू में नहीं आए तो जेडीयू खत्म हो जाएगा।
नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने इसे सरकारी खजाने की लूट और जनता के पैसे पर चुनावी अभियान चलाने का आरोप लगाया है। पटना में पार्टी कार्यालय में प्रेस वार्ता बुलाकर तेजस्वी यादव ने नीतीश कुमार पर आरोपों की बौछाड़ कर दी।
नीतीश सरकार दो महीने तक गांव-गांव जाकर महिला संवाद कार्यक्रम आयोजित करने वाली है। इसकी शुरुआत शुक्रवार को पटना से होगी। पहले दिन 600 जगह पर कार्यक्रम आयोजित किए गए हैं।
दरअसल वेस्ट बंगाल की सीएम ममता बनर्जी ने मुर्शिदाबाद की हिंसा के लिए बीजेपी को जिम्मेदार ठहराया है। इस मामले में उन्होंने नीतीश कुमार और चंद्र बाबू नायडू को भी लपेटने की कोशिश की। इस पर जेडीयू ने पलटवार किया है।
पटना स्थित जेडीयू कार्यालय के बाहर पोस्टर लगाया गया है, जिसमें लिखा है ‘25 से 30, फिर से नीतीश’। इस पोस्टर के बहाने जेडीयू ने साफ संदेश दिया है कि नीतीश कुमार के नेतृत्व में ही एनडीए आगामी बिहार चुनाव लड़ेगा और जीत का दावा भी किया गया है।
नायब सिंह सैनी के इस बयान के बाद जेडीयू के प्रवक्ता नीरज कुमार ने इसपर अपनी बात रखी। नीरज कुमार ने कहा कि जिनका नाम लेकर सैनी जी यह बात कह रहे हैं कि वो खुद पहले ही स्पष्ट कर चुके हैं कि इस बार बिहार चुनाव नीतीश कुमार के नेतृत्व में लड़ा जाएगा। तो फिर इसका क्या मतलब।