Tragic Suicide of Youth in Kharkhoda Due to Police Negligence in Assault Case खेकडा पुलिस ने धाराओं में किया खेल, फांसी के फंदे पर झूला युवक, Bagpat Hindi News - Hindustan
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खेकडा पुलिस ने धाराओं में किया खेल, फांसी के फंदे पर झूला युवक

Bagpat News - - तीन भाइयों ने मृतक युवक पर बोला था हमला, पुलिस ने आरोपियों का शांतिभंग की धाराओं में किया था चालानखेकडा पुलिस ने धाराओं में किया खेल, फांसी के फंदे

Newswrap हिन्दुस्तान, बागपतSun, 15 June 2025 12:04 AM
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खेकडा पुलिस ने धाराओं में किया खेल, फांसी के फंदे पर झूला युवक

खेकडा पुलिस द्वारा धाराओं में खेल करके मारपीट के आरोपियों को बचाने से आहत पीड़ित युवक ने कस्बे के गिरधरपुर मोहल्ले में फांसी के फंदे से झूलकर जान दे दी। शनिवार सुबह परिजनों ने उसका शव फंदे पर लटका देखा, तो कोहराम मच गया। परिजनों का आरोप है कि यदि पुलिस सही धाराओं में मुकदमा दर्ज करते हुए कार्रवाई कर देती, तो उसके बेटे की मौत नहीं होती। वहीं, एएसपी ने सीओ खेकड़ा को मामले की जांच सौंप दी है। बताया गया कि कस्बे के गिरधरपुर मोहल्ले में मनीष उर्फ सीटू अपनी मां, पत्नी और छोटे बच्चों के साथ रहता था।

दो दिन पूर्व मोहल्ले के ही तीन भाइयों ने मनीष पर जानलेवा हमला कर उसे गंभीर रूप से घायल कर दिया था। मनीष ने हमलावरों के खिलाफ कोतवाली में नामजद तहरीर दी थी। पुलिस ने उसका मेडिकल परीक्षण तो कराया, लेकिन आरोपियों पर केवल शांति भंग की धारा में कार्रवाई कर दी। शुक्रवार को जब तीनों आरोपी एसडीएम कोर्ट से जमानत पर छूटकर आए, तो शाम के समय उन्होंने फिर से मनीष पर हमला कर दिया। मनीष ने दोबारा पुलिस को घटना की जानकारी दी, लेकिन आरोप है कि पुलिस ने इस बार भी कोई कार्रवाई नहीं की और उसे फटकारते हुए भगा दिया। पुलिस के इस रवैये से आहत होकर मनीष ने शुक्रवार देर रात अपने कमरे में फांसी लगा ली। शनिवार सुबह जब परिजनों की नींद खुली, तो उन्होंने मनीष को फंदे से लटका पाया। सूचना मिलने पर पहुंची पुलिस ने शव का पंचनामा भरकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। लोगों ने पुलिस अधीक्षक से मांग की है कि मामले की निष्पक्ष जांच करवाई जाए और दोषी आरोपियों के साथ-साथ लापरवाह पुलिसकर्मियों के खिलाफ भी सख्त कार्रवाई की जाए। ----- बेटा लगाता रहा गुहार, पुलिस ने नहीं सुनी मनीष की मां कमलेश ने रोते हुए बताया कि उसका बेटा बार-बार पुलिस से कार्रवाई की गुहार लगाता रहा, लेकिन पुलिस ने उसकी एक न सुनी। यदि पुलिस उसकी पीड़ा सुनकर मुकदमा दर्ज करते हुए आरोपियों को जेल भेज देती, तो उसके बेटे की जिंदगी बच जाती। कहा कि क्या पुलिस अब उसके बेटे की मौत के बाद कार्रवाई करेगी। मृतक की मां ने आरोपियों पर हत्या की धारा लगाने की मांग की। --------- कोट- युवक द्वारा आत्महत्या किए जाने की जानकारी मिली है। खेकड़ा पुलिस पर लगाए गए आरोपों की जांच शुरू करा दी गई है। सीओ खेकड़ा को मामले की जांच करते हुए रिपोर्ट भेजने के लिए कहा गया है। जांच रिपोर्ट के आधार पर अग्रिम कार्रवाई की जाएगी। एनपी सिंह, एएसपी बागपत ------- 14बाग102- खेकड़ा में मृतक मनीष का फाइल फोटो धाराओं में खेल कर आरोपियों को बचाने के लगते रहे हैं आरोप - खेकड़ा कस्बे का रहने वाला छात्र उत्पीड़न से परेशान होकर दे चुका है जान - कार सवारों ने दिन-दहाड़े किया था अपहरण, मुकदमे से धारा गायब बागपत, संवाददाता। खेकड़ा पुलिस पर धाराओं में खेल करके आरोपियों को बचाने के प्रयास का आरोप कई बार लग चुका है। मनीष से पहले खेकड़ा का छात्र उत्पीड़न से परेशान होकर आत्महत्या कर चुका है। इस मामले में भी पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं की। वहीं, विनयपुर गांव से दिन-दहाड़े रटौल के युवक का अपहरण किए जाने के मामले में पुलिस ने मुकदमा तो दर्ज किया, लेकिन उससे अपहरण की धारा ही हटा दी और आरोपियों की गिरफ्तारी तक नहीं हुई। इसी तरह के कई अन्य मामले प्रकाश में आ चुके है। -------- केस नंबर एक- खेकड़ा कस्बे का एक छात्र सरफाबाद गांव के जवाहर नवोदय विद्यालय में पढ़ता था। बताया जाता है कि उसके साथ पढ़ने वाले छात्र उसका शारीरिक और मानसिक उत्पीड़न करते थे। सत्र समाप्त होने के बाद छात्र अपने घर आया, तो आरोपियों ने उसका शोषण जारी रखा। छात्र ने लाइब्रेरी में पढ़ना शुरू किया, तो आरोपी छात्र वहां भी पहुंच गए और उससे अपना काम कराने लगा। उसने इंकार किया, तो उसकी पिटाई की। जिससे आहत होकर छात्र ने जहर खा लिया था, जिससे उसकी मौत हो गई थी। परिजनों ने आरोपी छात्रों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की। परिजनों का आरोप है कि धाराओं में खेल करते हुए पुलिस ने उन्हें बचा दिया। ------ केस नंबर दो- रटौल कस्बे के एक दिव्यांग युवक का दिन-दहाड़े अपहरण हुआ। जानलेवा हमला करते हुए उससे नकदी लूटी गई। इसके बाद बदमाश उसे रटौल के जंगल में बांधकर फैंक गए। इसके बाद पुलिस ने पीड़ित को बरामद करते हुए उपचार के लिए अस्पताल भिजवाया। पीड़ित युवक के परिजनों का आरोप है कि उन्होंने थाने पर अपहरण, लूट ओर जानलेवा हमले समेत कई धाराओं के अंर्तगत तहरीर दी थी, लेकिन पुलिस ने मुकदमे में अपहरण की धारा ही नहीं लगाई, जबकि सैकड़ों लोगों के सामने युवक का अपहरण हुआ था। एक सप्ताह बद भी आरोपी खुलेआम घूमकर अब पीडित के परिजनों को धमका रहे हैं। ------ केस नंबर तीन- बसी गांव में चंद रोज पहले शादी समारोह में भाई के साथ खाना खा रही युवती के साथ गांव के ही युवकों ने छेड़छाड़ की थी। विरोध करने पर आरोपियों ने भाई-बहन की पिटाई की थी। जिसके बाद पुलिस मौके पर पहुंची थी। आरोप है कि पुलिस को आरोपियों ने बुलवाया था। जिसके बाद पुलिस युवती के भाई को ही पकड़कर कोतवाली ले गई और उसके खिलाफ कार्रवाई की। इसके बाद युवती ने कोतवाली पहुंचकर हंगामा किया, तो पुलिस को गलती का एहसास हुआ। इसके बाद उसने पीड़िता की तहरीर पर मुकदमा दर्ज किया, लेकिन अभी तक आरोपियों को गिरफ्तार नहीं किया है। --------

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