बोले उन्नाव : सड़कों पर अतिक्रमण-गंदा पानी, हमारी तो सालों से यही जिंदगानी
Unnao News - आबादी के बीच से गुजरे नाले की सफाई न होने से लोग परेशान हैं। लोग जिलाधिकारी के पास सफाई की मांग कर चुके हैं। नालियों की सफाई न होने से जलभराव और गंदगी की समस्या बढ़ रही है। मोहल्ले में पेयजल का संकट...

आबादी के बीच से गुजरे नाले की सफाई न होने से लोग परेशान हैं। एक महीने पहले इसी मोहल्ले के लोग जिलाधिकारी की चौखट पर नाले की सफाई की मांग करने के लिए पहुंचे थे। यहां उन्हें सफाई कराने का आश्वासन मिला था। नालियों की सफाई न होने से भी गंदा पानी सड़कों पर भरा रहता है। गलियों में दुकानदारों ने भी अतिक्रमण कर रखा है। आपके अपने अखबार ‘हिन्दुस्तान से लोगों ने अपनी पीड़ा साझा की। सभी ने एकसुर में कहा कि जलभराव, गंदगी और सफाई कर्मियों के न आने से लोग परेशानियों से जूझ रहे हैं। हर वर्ष कई तरह के टैक्स देने के बाद भी शहर जैसी सुविधाओं से वंचित हैं। शहर के मुख्य बाजार छोटे चौराहे से शुरू होने वाले वार्ड 10 में शैक्षणिक संस्थाएं और धार्मिक स्थल हैं। इसके बावजूद यहां मूलभूत सुविधाओं की कमी है। आपके अपने अखबार ‘हिन्दुस्तान से चर्चा के दौरान मुन्नी ने बताया कि चार मोहल्लों से होकर गुजरे नाले की सफाई के लिए कई बार नगर पालिका में शिकायत कर चुके हैं, लेकिन अब तक किसी ने सुध नहीं ली। सफाई कर्मचारी या तो आते नहीं हैं या बिना काम किए चले जाते हैं।
राजाबाबू, सोनू और काजल ने बताया कि नरेंद्र नगर में एक दबंग किस्म की महिला है, जो नाले की सफाई नहीं होने देती है। जब भी नगर पालिका के लोग सफाई के लिए जाते हैं तो अभद्रता करने लगती है। इसके चलते सफाई में समस्या आ रही है। लोगों ने बताया कि यहां बच्चों के खेलने के लिए कोई व्यवस्था नहीं है। मोहल्ले आने वाले रास्तों पर दुकान संचालकों ने अतिक्रमण कर रखा है। अधिकांश सीसी रोड क्षतिग्रस्त हो चुकी हैं। इंटरलॉक रास्तों के भी हाल बदहाल हैं। अमृत योजना के कर्मियों ने पाइपलाइन डालने के लिए सड़कों को और बर्बाद कर दिया। जगह-जगह गड्ढों से वाहन चालक हादसे का शिकार होते हैं। अंधेरे में पैदल आने-जाने वाले लोग भी चोटिल हो जाते हैं।
इकबाल और रमेश ने बताया कि मोहल्ले में पेयजल का संकट रहता है। वार्ड में लगे अधिकांश सरकारी हैंडपंप खराब हो चुके हैं। शरद ने बताया कि मोहल्लों में नियमित सफाई नहीं हो रही है। गलियों में कूड़े के ढेर लगे हैं। नालियां बंद पड़ी हैं, जिससे दुर्गंध फैल रही है। टैक्स तो हमसे हर साल वसूला जाता है, लेकिन न तो यहां फॉगिंग कराई जाती है और न ही एंटी लार्वा का छिड़काव होता है। नालियों की सफाई न होने से गंदा पानी सड़कों के ऊपर बहता है। बारिश के मौसम में स्थिति और भी खराब हो जाती है। जलभराव से कीचड़ बन जाता है और मच्छरों की संख्या बढ़ जाती है। स्कूली बच्चे और पैदल जाने वाले लोग इसी पानी के बीच से होकर गुजरने को मजबूर होते हैं। इससे डेंगू और मलेरिया जैसी बीमारियों का खतरा मंडरा रहा है।
मोहल्ले में लगे गंदगी के ढेर
मोहल्ले में विकास कार्य कराए गए हैं। सार्वजनिक शौचालय भी बना है। नागर मील पार्क का सुंदरीकरण कराया गया। कई सड़कों को दुरुस्त कराया गया। मोहल्ले में कूड़ा गाड़ी भी नहीं आती है। इस कारण जगह-जगह कूड़ा एकत्र होता है। बीमारियां फैलती हैं और मच्छरों से जीना मुश्किल है।
निगरानी के लिए सुपरवाइजर भी, फिर भी गंदगी से निजात नहीं
इस वार्ड में 12 से अधिक कर्मचारी तैनात हैं। इनकी निगरानी के लिए सुपरवाइजर भी है। इतने बड़े वार्ड में कर्मियों की इतनी कम संख्या परेशानी बढ़ाने भर के लिए काफी है। हालांकि, यहां के लोग नाइट स्वीपिंग पर तारीफ करते हैं। बताते हैं कि पहली बार जब महानगरों की तर्ज पर उन्नाव शहर पालिका ने भी रात में सफाई कराना शुरू किया है, लेकिन शहर के वार्ड दस की गलियां तंग पड़ी है। यहां गंदगी की भरमार है। वह कहते हैं कि इन वार्डों की सफाई के लिए स्पेशल टास्क टीम तैनात करनी होगी। राजू बताते हैं कि वार्ड की कई गलियां जर्जर पड़ी हैं। बुजुर्गों और बच्चों को आवागमन करने पर परेशानी का सामना करना पड़ता है। इन सड़कों को जल्द बनवाना चाहिए।
गलियों में लगे रहते कूड़े के ढेर
मोहल्लों में नियमित सफाई नहीं हो रही है। गलियों में कूड़े के ढेर लगे हैं। नालियां बंद पड़ी हैं, जिससे दुर्गंध फैल रही है। मोहल्ले वासियों का कहना है कि टैक्स देने के बाद भी सुविधाओं देने के नाम पर सिर्फ धोखेबाजी की जाती है। फॉगिंग भी कभी नहीं कराई जाती थी। नालियों की सफाई न होने से मच्छरों का आतंक रहता है। ओवरफ्लो होने से गंदा पानी वहीं सड़कों पर भरता है। इससे संक्रामक बीमारियों के फैलने का खतरा भी बना रहता है। फिर भी लोग रहने को मजबूर हैं। बारिश के दौरान समस्या और अधिक बढ़ जाती है। इसके बावजूद जनप्रतिनिधि और अधिकारी समस्याओं से छुटकारा दिलाने के लिए पहल नहीं कर रहे हैं। इससे लोगों में रोष भी पनप रहा है। लोगों का कहना है कि जल्द गंदगी से निजात नहीं दिलाई गई तो आंदोलन करने को मजबूर होना पड़ेगा।
सुझाव
1. शहर से जोड़ने वाले व्यस्त जर्जर सड़क को जल्द से जल्द दुरुस्त कराया जाए।
2. नालियों की सफाई न होने से पानी सड़कों पर बहता है। नालियों की नियमित बेहतर सफाई हो।
3. नाले की सफाई विवाद के कारण नहीं हो पा रही है। अधिकारियों की मौजूदगी में नाले की सफाई हो।
4. खंभों पर लगी स्ट्रीट लाइटें खराब हैं। अंधेरे में महिलाएं बाहर निकलने में डरती हैं।
5. सफाई कर्मी रोजाना सफाई करने के बाद कूड़े का निस्तारण भी करें ताकि गंदगी के ढेर
न लगें।
शिकायतें
1. हल्की सी बारिश में कई मोहल्ले टापू बन जाते हैं। जलनिकासी के पर्याप्त इंतजाम नहीं हैं।
2. कई लोगों ने नालियों पर अतिक्रमण कर रखा है। इस कारण कर्मचारी सफाई नहीं कर पाते हैं।
3. अमृत योजना के तहत खोदी गईं सड़कें दुरुस्त नहीं हैं। अक्सर लोग गड्ढों की चपेट में आकर चुटहिल हो जाते हैं।
4. वार्ड में आने वाली कचरा गाड़ी कुछ जगहों तक ही पहुंचती है। इन्हें घर-घर पहुंचाया जाए।
5. सफाई कर्मी कचरा निस्तारण करने के बजाय उसे जला देते हैं। इससे सांस के मरीजों को परेशानी होती है।
बोले बाशिंदे
जवाहर नगर शहर का अहम हिस्सा है। मगर सुविधाओं के नाम पर कुछ नहीं है। जलभराव का संकट है। -तौफीक
सड़कें ऐसी हैं, जहां मरम्मत की दरकार कई वर्ष से रही है। शिकायतों के बावजूद ध्यान नहीं दे रहे हैं।
-शहबाज
नालों की सफाई नहीं की जाती है। इससे जलभराव का संकट बना रहता है। इस पर ध्यान दिया जाए।
-सलमान
अमृत योजना के लिए सड़कें खोद दी हैं। इंडियामार्का को भी दुरुस्त करने की जिम्मेदारी भूल बैठे हैं।
-मो. शोएब
कूड़ा उठान रोजाना नहीं होता है। कर्मियों के पास कूड़ा फेंकने का स्थाई ठिकाना नहीं है। गंदगी के ढेर लगे हैं। - सलमान
बोले जिम्मेदार
कर्मियों को रोज सफाई करने के निर्देश हैं
सुविधाएं बेहतर करने का हर प्रयास किया जा रहा है। सभासद से मोहल्ले में खराब सड़कों और नालियों की जानकारी ली जाएगी। इसके बाद उनका निर्माण कराया जाएगा ताकि लोगों को असुविधा न झेलने पड़े। कर्मियों को भी रोज सफाई करने के निर्देश हैं। वार्ड वासियों की अन्य समस्याओं का भी प्राथमिकता से निराकरण कराया जाएगा। - श्वेता मिश्रा, नगर पालिका अध्यक्ष
लेटेस्ट Hindi News , बॉलीवुड न्यूज, बिजनेस न्यूज, टेक , ऑटो, करियर , और राशिफल, पढ़ने के लिए Live Hindustan App डाउनलोड करें।