बिना इलाज के साल भर में मर गए 13 बच्चे, यूपी में आश्रय केंद्र की जांच से सरकार भी सन्न
- यूपी में निर्वाण आश्रय केंद्र के 13 बच्चों की मौत एक वर्ष में हुई है। कमेटी की जांच में इसका खुलासा हुआ कि अव्यवस्था बच्चों की मौत की वजह बनी है। शासन को भेजी कमेटी की जांच रिपोर्ट में इसका खुलासा किया। संस्था से इसका संचालन वापस लेने की सिफारिश की गई।

यूपी में निर्वाण केन्द्र में एक वर्ष में 13 बच्चों की मौत हो चुकी है। शासन की ओर से गठित कमेटी की जांच में इसका खुलासा हुआ है। रिपोर्ट के मुताबिक मौतों के बावजूद बच्चों के इलाज पर ध्यान नहीं दिया गया। रिपोर्ट में कहा गया है कि अगर बच्चों का स्वास्थ्य परीक्षण समय पर कराया गया होता तो उनकी जान बच सकती थी। अब संस्था से इसका संचालन वापस लेने की तैयारी की गयी है। इसके लिए शासन रिपोर्ट भेज दी गयी है।
डीएम विशाख जी ने महिला कल्याण विभाग को रिपोर्ट भेज दी है। सूत्रों ने बताया कि जांच में बच्चों की मौत की वजह अव्यवस्था व इलाज न कराना रहा है। जल्दी जल्दी कर्मचारियों के बदलने की वजह से भी दिक्कतें आयीं थीं। अधिकारियों को जांच में यहां बच्चों की देखभाल का कोई मजबूत सिस्टम नहीं मिला है। अन्दर गंदगी भी मिली। निर्वाण केन्द्र के मामले में कार्रवाई की गेंद अब शासन पहुंच गयी है। निर्वाण को हटाकर उसकी जगह दूसरी संस्था रखी जाएगी या फिर वही काम करेगी,शासन फैसला करेगा। खाने पानी की गुणवत्ता सही मिली है।
लखनऊ के जिलाधिकारी, विशाख जी ने इस बारे में जानकारी देते हुए कहा कि हमने जांच रिपोर्ट शासन को भेज दी है। आगे की कार्यवाही शासन करेगा। शासन ने ही जांच के लिए कमेटी बनायी थी। इसलिए रिपोर्ट के बारे में अभी कुछ नहीं कहा जा सकता है।
मुमताज अनाथालय का पंजीकरण निरस्त होगा
अमीनाबाद के मुमताज अनाथालय का पंजीकरण निरस्त किया जाएगा। इसकी कवायद शुरू कर दी है। एक किशोर के यहां से संदिग्ध रूप से गायब होने के मामले में गुरुवार को डीपीओ विकास सिंह जांच करने पहुंचे। उन्होंने इसके बारे में संचालकों से बातचीत की। पता चला कि इसका पंजीकरण जेजे एक्ट के तहत हुआ है। अब वह पंजीकरण निरस्त करने के लिए अपनी रिपोर्ट भेजेंगे।