चैनपुर में आधे रैयत भी नहीं जमा कर पाए भूमि के दस्तावेज
चैनपुर प्रखंड में 65437 रैयत में से केवल 33779 ने अपने भूमि के दस्तावेज जमा किए हैं। अफसरों ने किसानों को जागरूक करने के लिए अभियान चलाया, लेकिन अधिकांश रैयत अभी भी पीछे हैं। सर्वे का कार्य 177 मौजा...

अंचल के 65437 रैयत में से अभी तक 33779 ही जमा किए हैं कागजात प्रखंड के 177 मौजा में से 171 में भूमि सर्वे का किया जा रहा है काम (पेज चार की फ्लायर खबर) चैनपुर, एक संवाददाता। जमीन के सर्वे के लिए चैनपुर प्रखंड के आधे रैयत भी अपनी भूमि का दस्तावेज जमा नहीं कर पाए। जबकि इस कार्य के लिए अफसरों व कर्मियों ने अभियान चलाकर किसानों को जागरूक किया। गांवों में चौपाल लगाई। इससे होनेवाले फायदे बताए। लेकिन, अभी भी दस्तावेज जमा करने में प्रखंड के रैयत काफी पीछे हैं। मिली जानकारी के अनुसार, चैनपुर अंचल के 65437 किसानों को जमाबंदी रैयत के रूप में चिह्नित किया गया है।
लेकिन, अभी तक 33779 रैयत की अपनी जमीन से संबंधित दस्तावेज सर्वे ऑफिस में जमा कर सके हैं। बताया गया है कि चैनपुर अंचल में कुल 177 मौजा विभिन्न नाम से दस्तावेज में अंकित है। इनमें से 171 मौजा में सर्वे का काम चल रहा है। सर्वे कार्य के शिविर प्रभारी सुरेश प्रकाश का कहना है कि चैनपुर अंचल में भू सर्वे का कार्य तेजी से चल रहा है। किसान अगर समय से दस्तावेज जमा कर देते तो इसमें और तेजी आती। सर्वे कार्य के लिए चैनपुर अंचल में 25 अमीन प्रतिनियुक्त किए गए हैं। कानूनगो के रूप में सचिन कुमार राय को स्थापित किया गया है। उन्होंने कहा कि किसानों को जागरूक करने के लिए वह खुद गांवों में जाकर उनसे मिले। साथ में पूरी टीम थी। सर्वे का काम करा लेने से होने वाले लाभ और नहीं कराने से होनेवाले नुकसान के बारे में किसानों को बताया गया। किसानों ने भी उनसे कहा कि वह अपने दस्तावेज को जमा कर देंगे। लेकिन, अभी तक कोई खास प्रगति नहीं दिख रही है। इसके लिए किसानों को जागरूक एवं कर्मियों से सामंजस्य स्थापित करना ही बेहतर मार्ग होगा, जिससे समय पर काम हो सकेगा। उन्होंने कहा कि जिन किसानों के पास कोई दस्तावेज नहीं है, वह राजस्व रसीद के साथ भी अपने अभिलेखों को दस्तावेज के रूप में जमा कर सकते हैं। बहुत परेशान होने की जरूरत नहीं है। क्योंकि सरकार ने सर्वे की प्रक्रिया काफी सरल कर दी है। सरकार ने भू सर्वे के लिए जो समय निर्धारित किया है, उसी के अनुसार हमलोग काम निष्पादित कर रहे हैं। अगर सरकार अवधी बढ़ाएगी तो आगे भी काम होगा। लेकिन, किसानों को जागरूक होकर दस्तावेज जमा करने के लिए आगे आना चाहिए। बिजली कटने पर प्रभावित होता है काम भू सर्वे कार्यालय में संसाधनों की कमी है। किसानों के आने पर यहां बैठने की सुविधा नहीं है। बिजली आपूर्ति बंद होने पर जेनरेटर की सुविधा नहीं है। जबकि भू सर्वेक्षण के सभी काम ऑनलाइन किए जाते हैं। अंधेरे में काम निपटाना मुश्किल होता है। गर्मी से अधिकारी व कर्मी परेशान हो जाते हैं। आमीन एवं कर्मियों ने बताया कि बिजली कटने की वजह से डाटा एंट्री करने के दौरान कई ऐसे दस्तावेज हैं, जो अपने कट जाते हैं या एक साइड से डिलिट हो जाते हैं। ऐसे में उन्हें दोबारा डाटा एंट्री करने में परेशानी होती है। कोट चैनपुर के रैयत को चाहिए कि वह अपनी जमीन के अभिलेखों को भू-सर्वेक्षण कार्यालय में जमा करा दें, ताकि उनकी भूमि के सर्वे का काम पूरा हो सके और उनकी जमीन ऑनलाइन हो जाए। सुरेश प्रकाश, शिविर प्रभारी, भू सर्वेक्षण, चैनपुर फोटो- 08 मई भभुआ- 10 कैप्शन- चैनपुर के भूमि सर्वेक्षण कार्यालय में गुरुवार को अभिलेखों को ऑनलाइन करने का कार्य निपटाते शिविर प्रभारी सुरेश प्रकाश व अन्य। (फोटो सिंगल)
लेटेस्ट Hindi News , बॉलीवुड न्यूज, बिजनेस न्यूज, टेक , ऑटो, करियर , और राशिफल, पढ़ने के लिए Live Hindustan App डाउनलोड करें।