Farmers Struggle to Sell Baby Corn Amid Lack of Buyers in Bihar बेबी कॉर्न के नहीं मिल रहे खरीदार, चिंता में पड़े हैं किसान , Biharsharif Hindi News - Hindustan
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बेबी कॉर्न के नहीं मिल रहे खरीदार, चिंता में पड़े हैं किसान

बेबी कॉर्न के नहीं मिल रहे खरीदार, चिंता में पड़े हैं किसान बेबी कॉर्न के नहीं मिल रहे खरीदार, चिंता में पड़े हैं किसान

Newswrap हिन्दुस्तान, बिहारशरीफSun, 25 May 2025 08:42 PM
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बेबी कॉर्न के नहीं मिल रहे खरीदार, चिंता में पड़े हैं किसान

बेबी कॉर्न के नहीं मिल रहे खरीदार, चिंता में पड़े हैं किसान उपज बेचने के लिए शहर के बाजारों में भटक रहे अन्नदाता कृषि विभाग ने कहा, उपज लाकर दें किसान, मिलेगा उचित दाम फोटो बेबी कॉर्न : तैयार बेबी कॉर्न की फसल को दिखाते पोरई गांव के किसान । बिहारशरीफ, कार्यालय प्रतिनिधि। जिले में मोटे अनाज की खेती को बढ़ावा दिया जा रहा है। कृषि विभाग अन्नदाताओं को अनुदान पर बीज मुहैया कराता है। यही कारण है कि हाल के सालों में जिले के किसान बड़े पैमाने में बेबी कॉर्न और स्वीट कार्न की खेती से जुड़े हैं। समस्या यह कि खरीदार ही नहीं मिल रहे हैं।

अन्नदाता परेशान हैं। सदर प्रखंड के कोरई, कासिमचक एवं श्रीराम नगर समेत अन्य गांवों के किसान बेबी कॉर्न की खेती से जुड़े हैं। कोरई गांव के किसान उमेश प्रसाद, श्रीराम नगर के जालंधर महतो, मनोज कुमार व अन्य कहते हैं कि हम लोगों ने बेबी कॉर्न की खेती बड़े उत्साह से की थी। इसके लिए कृषि विभाग द्वारा अनुदानित दर पर हम लोगों को बीज भी उपलब्ध कराया गया था। परंतु, फसल तैयार होने के बाद खरीदार नहीं मिल रहे हैं। शहर के दुकानदारों का कहना है कि बेबी कॉर्न की मांग सिर्फ शादी विवाह के मौके पर होती है। फिलहाल विवाह का शुभ लग्न खत्म हो गया है। इसलिए चाहकर भी उपज नहीं खरीद सकते। अन्नदाताओं के पास समस्या यह कि स्थानीय बाजारों में बेबी कॉर्न की मांग न रहने के कारण चाहकर भी वे बड़े बाजारों तक नहीं जा पाते हैं। वजह, जितनी उपज बेचकर राशि मिलती है, उसमें से आधी राशि वाहन किराया में ही खर्च हो जाता है। प्रभावित किसानों ने स्थानीय स्तर पर ही बाजार उपलब्ध कराने की मांग जिला कृषि विभाग से की है। ताकि, उपज बेचकर कमाई कर सकें। इधर, जिला विपणन पदाधिकारी अविनाश कुमार कहते हैं कि बेबी कॉन की खेती करने वाले किसान अपनी उपज को बाजार में नहीं बेच पा रहे हैं तो वे जिला कृषि कार्यालय में लाकर दे सकते हैं। उन्हें उचित कीमत मिलेगी। उन्होंने बताया कि विभाग और हरनौत के चैनपुर के पास स्थित फूड प्रोसेसिंग यूनिट के बीच एग्रीमेंट हुआ है। क्वालिटी के अनुसार प्रति किलो 50 से लेकर 60 रुपए तक कीमत तय की गयी है।

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