मऊगंज की घटना के विरोध में सड़कों पर उतरा ब्राह्मण समाज, रीवा में बंद का कितना दिखा असर?
- मऊगंज हत्याकांड में ब्राह्मण युवक की हत्या के विरोध में ब्राम्हण महासभा के बैनर तले मंगलवार को रीवा और मऊगंज बंद का आह्वान किया गया। इस दौरान बंद का मिला-जुला असर देखने को मिला। ब्राह्मण महासभा के कार्यकर्ताओं ने रैली निकाली और बाजार बंद करने का व्यापारियों से आग्रह किया।

मऊगंज हत्याकांड में ब्राह्मण युवक की हत्या के विरोध में ब्राम्हण महासभा के बैनर तले मंगलवार को रीवा और मऊगंज बंद का आह्वान किया गया। इस दौरान बंद का मिला-जुला असर देखने को मिला। ब्राह्मण महासभा के कार्यकर्ताओं ने रैली निकाली और बाजार बंद करने का व्यापारियों से आग्रह किया। अखिल भारतीय ब्राह्मण समाज, हिन्दू क्षत्रिय वाहिनी,रॉयल राजपूत संगठन और सपाक्स ने इस बंद को समर्थन किया।
मऊगंज में युवक और पुलिसकर्मी की हत्या के बाद रीवा में भारी विरोध प्रदर्शन देखा गया। मंगलवार सुबह से ही ब्राह्मण और राजपूत संगठनों समेत कई सामाजिक संगठन रीवा बंद करवाने के लिए सड़कों पर उतर आए। मुख्य रूप से रीवा शहर के शिल्पी प्लाजा में ब्राह्मण संगठन के कार्यकर्ताओं ने बीच सड़क पर बैठकर आवागमन रोक दिया और नारेबाजी की। प्रदर्शनकारी दुकानें बंद कराने के लिए बाजारों में घूम रहे थे। हालांकि,कुछ इलाकों में दुकानें बंद तो कुछ जगह दुकानें खुली नजर आईं। आरोपियों पर सख्त कार्रवाई,पीड़ित परिवार को सहायता की मांग प्रदर्शनकारी युवक और पुलिसकर्मी की हत्या के आरोपियों पर कठोर कार्रवाई की जा रही थी साथ ही,मृतक युवक के परिवार को आर्थिक सहायता और सरकारी नौकरी देने की मांग की गई है।
ब्राम्हण महासभा ने पुलिस और प्रशासन पर गंभीर आरोप लगाते हुए विरोध जताया और रीवा और मऊगंज बंद का आह्वान किया था। महासभा का कहना है कि ब्राह्मण समाज पर लगातार अत्याचार हो रहे हैं, प्रदेश के कई जिलों में ब्राह्मणों की हत्याएं हुई हैं,लेकिन सरकार ने कोई ठोस कदम नहीं उठाए। हाल ही में मैहर,सीधी और अब मऊगंज जिले में 2 ब्राह्मणों की हत्या ने साबित कर दिया है कि अब ब्राह्मण सुरक्षित नहीं रह गए सरकार हाथ पर हाथ धरे बैठी है।
गौरतलब है कि बीते 15 मार्च को आदिवासियों ने ASI गौतम और सनी द्विवेदी की हत्या कर दी थी सनी को बंधक बना कर हत्या कर दी और बंधक को छुड़ाने गई पुलिस पर पथराव हुआ जिसमें ASI की मौत हो गई। इस घटना से ब्राम्हण आहत है। उन्होंने जल्द आरोपियों की गिरफ्तारी और कठोर कार्यवाही की मांग की। ब्राह्मण महासभा ने डॉ मोहन यादव की सरकार को कड़ी चुनौती देते हुए कहा कि अगर मुख्यमंत्री ब्राह्मणों पर हो रहे अत्याचार पर लगाम नहीं लगाते तो उन्हें ब्राह्मण विरोधी माना जाएगा।इस बंद का अखिल भारतीय ब्राह्मण समाज,हिन्दू क्षत्रिय वाहिनी,रॉयल राजपूत संगठन और सपाक्स ने भी समर्थन किया है।
रिपोर्ट- रीवा से सादाब सिद्दीकी
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