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दिल्ली में क्यों हुआ इतना बड़ा बुलडोजर ऐक्शन, बरसात और बांग्लादेशी कनेक्शन

दक्षिणी पूर्वी दिल्ली के तैमूर नगर स्थित नाले के पास सोमवार को अतिक्रमण हटाया गया। एक साथ कई बुलडोजर गरजे और 100 से अधिक मकानों को गिरा दिया।

Sudhir Jha लाइव हिन्दुस्तान, नई दिल्लीTue, 6 May 2025 08:01 AM
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दिल्ली में क्यों हुआ इतना बड़ा बुलडोजर ऐक्शन, बरसात और बांग्लादेशी कनेक्शन

दक्षिणी पूर्वी दिल्ली के तैमूर नगर स्थित नाले के पास सोमवार को अतिक्रमण हटाया गया। दिल्ली उच्च न्यायालय के आदेश पर डीडीए ने दिल्ली नगर निगम, दिल्ली पुलिस व अन्य विभागों के साथ मिलकर कार्रवाई करते हुए नाले के नौ मीटर तक के इलाके में बनीं कई अवैध इमारतें और उनके ढांचे को हटाया। एक तरफ जहां इस कार्रवाई से बरसात में होने वाली मुसीबत से बचाने की कोशिश की गई है तो दूसरी तरफ नाले के बेहद नजदीक बहुत से बांग्लादेशियों के भी बस जाने की बात कही जा रही थी।

दिल्ली उच्च न्यायालय ने 28 अप्रैल को डीडीए को तैमूर नगर नाले के आसपास 5 मई को अतिक्रमण हटाने के निर्देश दिए थे। सुबह सात बजे से ही दिल्ली पुलिस, रैपिड एक्शन फोर्स (आरएएफ) के सिपाही और अधिकारी तैमूर नगर गांव के पास मौजूद नाले के पास पहुंच गए थे। करीब डेढ़ घंटे बाद डीडीए अफसर मौके पर पहुंचे और सुबह करीब 8:30 बजे के बाद कार्रवाई शुरू हुई। शाम करीब 4:30 बजे तक चली कार्रवाई में तैमूर नगर नाले के पास अवैध तरीके से बनाए गए सौ से अधिक मकान और डेयरियों को ध्वस्त किया गया। इस दौरान इलाके में दिनभर गहमागहमी का माहौल रहा। स्थिति को नियंत्रित करने के दिल्ली पुलिस और रैपिड एक्शन फोर्स के सिपाही लगातार गश्त लगाते रहे। कार्रवाई से पहले ही तैमूर नगर गांव से गुजरने वाली मुख्य सड़क के पास के दोनों रास्तों को दिल्ली पुलिस ने बैरिकेड लगाकर बंद कर दिया था। जिन अवैध मकानों पर कार्रवाई हुई, वहां से बिजली-पानी के कनेक्शन भी काट दिए गए।

कार्रवाई के खिलाफ हाईकोर्ट जाएंगे

स्थानीय निवासी सुरेंद्र सिंह ने कहा कि हम लोग इस कार्रवाई के खिलाफ दिल्ली उच्च न्यायालय जाएंगे। उन्होंने दावा किया कि यह जमीन किसानों की है। हमारे दादा, परदादा समेत पुरानी पीढ़ी करीब दो सौ वर्षों से यहां रहती आई है। करीब 45 वर्ष पहले हमने यहां पक्के मकान बनाए। उन्होंने दावा किया कि जिस जगह कार्रवाई हुई उसे कपासिया मोहल्ला कहते हैं। यह विस्तारित लाल डोरा क्षेत्र में आता है। वर्ष 2007 में राज्य सरकार ने इस स्थान को अधिकृत किया था। उन्होंने कहा कि महारानी बाग में इस नाले की चौड़ाई नौ मीटर है, जबकि तैमूर नगर गांव के पास मौजूद नाले पर 27 मीटर तक चौड़ाई की जा रही है। यह पक्षपातपूर्ण और गलत है।

अवैध रूप से रह रहे बांग्लादेशी

स्थानीय निवासियों ने कहा कि यहां लंबे समय से अवैध रूप से कई बांग्लादेशी भी रह रहे हैं। उन्होंने नाले के बिल्कुल पास अवैध तरीके से मकान बना दिए, लेकिन इस पर विभागों और प्रशासन ने कोई ध्यान नहीं दिया। इनके खिलाफ कार्रवाई करने के लिए भी कई बार मांग की गई।

कई लोग बेघर हुए

तैमूर नगर नाले के पास रहने वाले 29 वर्षीय अजय कामत ने बताया कि जहां कार्रवाई की गई वहां करीब 45 साल से लोग रह रहे थे। तैमूर नगर गांव के निवासियों ने नाले के पास मकान बनाए हुए थे जहां लोग किराये से भी रह रहे थे। उन्होंने दावा किया कि इस तोड़फोड़ के कारण करीब दो हजार से अधिक लोग बेघर हो गए।

बारिश में घरों में आ जाता है पानी

फ्रेंड्स कॉलोनी की आरडब्ल्यूए के सदस्यों ने बताया कि बारिश होते ही कुछ ही घंटों में नाले का पानी घरों में आ जाता है। तेज बारिश के बाद कॉलोनी से गुजर रहे इस नाले के पानी का प्रवाह आगे बढ़ जाना चाहिए। लेकिन तैमूर नगर में अवैध निर्माण और गंदगी के कारण नाले का पानी बाहर आ जाता है और इलाके में जलभराव की स्थिति बन जाती है। ग्रेड ए क्षेत्र के रूप में वर्गीकृत इस कॉलोनी के निवासियों के लिए मानसून एक चिंताजनक समय बन गया है। मानसून की दस्तक से पहले नाले की सफाई करना बहुत जरूरी है। निगम, जल बोर्ड और डीडीए को समन्वय बैठा कर काम करना चाहिए। वहीं, नाले की सफाई को लेकर निगम अधिकारियों ने कहा कि दिल्ली में सभी नालों की सफाई का कार्य जारी है। इसके लिए टीमें गठित कर दी गईं हैं। इस कार्य की लगातार निगरानी भी हो रही है।

नाले में डाले जा रहे कूड़े की रोकथाम जरूरी

विशेषज्ञों के अनुसार बारिश के दौरान तैमूर नगर नाले के अतिप्रवाह की समस्या को रोकने के लिए कई कदम उठाए जाने जरूरी हैं। निगम व अन्य विभागों के अधिकारी नाले में लगातार डाले जा रहे कूड़े को रोकने के लिए कार्यप्रणाली बनाएं। साथ ही नाले की संरचनात्मक ढांचे की कमियों की पहचान कर उसमें बदलाव करें। इसमें नाले के उन चार बिंदुओं के ढांचे का बदलाव जरूरी है जहां पानी और सीवर मिलकर नाले के प्रवाह को जमा कर देते हैं। नाले की लगातार सफाई के लिए भी नोडल अधिकारियों की नियुक्ति की जानी चाहिए।

कई जगह 5 फीट ही रह गई चौड़ाई, इन इलाकों के लिए मुसीबत

तैमूर नगर नाले की लंबाई पांच सौ मीटर से अधिक है। यह नाला पूर्वी एवेन्यू रोड महारानी बाग के गेट नंबर पांच से शुरू होकर खिजराबाद मेन रोड तक जाता है। इसका शुरुआती हिस्सा 20 से 30 फुट चौड़ा है। लेकिन लंबे समय से कूड़ा डालने और अतिक्रमण के कारण इसके आगे के हिस्से की चौड़ाई कई स्थानों पर पांच फीट तक ही रह गई। इस वजह से नाला जाम हो जाता है। बारिश के मौसम में नाले से सटी कॉलोनियों में पानी वापस जाना शुरू हो जाता है। इस नाले के आसपास तैमूर नगर गांव, झुग्गी बस्तियां, श्रीनिवासपुरी, गढ़ी, कालिंदी, न्यू फ्रेंड्स कॉलोनी, फ्रेंड्स कॉलोनी वेस्ट जैसे क्षेत्र आते हैं जहां करीब तीन लाख से अधिक लोग रहते हैं।