बोले कासगंज: पूर्व सैनिकों की हुंकार, दुश्मन को दिखाएंगे उसकी औकात
Agra News - कासगंज के पूर्व सैनिक ऑपरेशन सिंदूर के तहत पाकिस्तान से मुकाबला करने के लिए तैयार हैं। उन्होंने सरकार और प्रशासन से कहा है कि उनकी सेवाएं ली जाएं। पूर्व सैनिकों का मानना है कि भारतीय सेनाएं तकनीकी...
ऑपरेशन सिंदूर के चलते कासगंज के पूर्व सैनिक भी पाकिस्तान से दो-दो हाथ करने को तैयार हैं। पूर्व सैनिकों ने देश की सरकार के साथ ही जिला प्रशासन से कहा है कि, उनकी जहां भी जरूरत पड़े, उनकी सेवाएं ली जाएं, हम अपने देश के लिए पूरे जोश और उत्साह के साथ खड़े हैं। पूर्व सैनिकों ने कहा है कि, पाकिस्तान को धूल चटाने में हमारे देश की तीनों सेनाएं सक्षम हैं और पाकिस्तान को यह समझ लेना चाहिए कि, हमारे भारत ने 1971 के बाद और भी अपनी ताकत बढ़ा ली है कि हमारे ड्रोन ही ही पाकिस्तान की मिसाइलों को मार गिरा रहे हैं।
सगंज के पूर्व सैनिकों और सैन्य अधिकारियों ने आपके अपने हिन्दुस्तान अखबार के बोले कासगंज संवाद में अपने अनुभव और अपने इरादे साझा किये। उनका कहना है कि, हमारे देश के चौतरफा प्रहार के आगे दुश्मन देश पाकिस्तान कहीं भी टिकने वाला नहीं है, हमारे देश की सेना तकनीकि के रूप से काफी सशक्त है, हमारे एस 400 ड्रोन सिस्टम ने ही दुश्मन की मिसाइलें और सुसाइड ड्रोन उड़ाकर शुरूआत में ही होश उड़ाकर रख दिये हैं, वायु सेना, जल सेना और थल सेना के प्रहार से पाकिस्तान में हाहाकार मचा हुआ है। पूर्व सैनिकों ने कहा कि, हमारे देश की सेना, सरकार और जहां हम रह रहे हैं, हमारा जिला प्रशासन हमारी सेवाएं ले सकता है, हम अपनी आतंरिक सुरक्षा में काम आ सकते हैं, हमने अपनी ओर से अपनी बात जिला पूर्व सैनिक कल्याण बोर्ड के अधिकारी को अवगत करा दी है, जब भी हमें आदेश देंगे हम आपके साथ सुरक्षा में खड़े रहेंगे। उन्होंने कहा कि, सरकार चाहे तो हमें ऑपरेशन सिंदूर में काम में ले सकती है, हमारी भी भुजाएं पाकिस्तान से दो-दो हाथ करने के लिए फड़क रही हैं। जिला सैनिक कल्याण बोर्ड में यह बातें रखीं:जिला सैनिक कल्याण एवं पुनर्वास अधिकारी कमांडर जगबीर सिंह ने बताया कि, अवगत कराना है कि ऑपरेशन सिंदूर भारतीय सशस्त्र सेनाओं ने पहलगाम हादसे के उपरान्त आंतकवादियों का खात्मा करने और भारतीय संस्कृति को सुरक्षित करने के लिए लॉच कर दिया है। कुछ समय चुनौतियों को देखते हुए कमांडर जगबीर सिंह ने शुक्रवार को भूतपूर्व सैनिकों से सैनिक कल्याण कार्यालय में बातचीत की। सैनिक बंधु बैठक में सुरक्षा की दृष्टि से बताया कि सभी पूर्व सैनिक आंतरिक सुरक्षा में जिला प्रशासन को अपना सहयोग प्रदान करें, और अपने आस पास के क्षेत्र में शॉन्ति व सुरक्षा बनाएं रखने में सहयोग प्रदान करें ताकि स्लीपर सेल द्वारा किसी प्रकार की अप्रिय घटना न हो सके। आम जनमानस, ग्रामीण जनता के साथ ताल मेल रखते हुए अपने अनुभवों से सरकारी व गैर सरकारी सम्पत्ति व जान माल को बचाए रखने के लिए सम्पूर्ण योगदान दें। इस मौके पर पूर्व सैनिकों ने शांति सुरक्षा में पूर्ण सहयोग का आश्वासन दिया है। उन्होंने बताया कि, 1971 (इंडो-पाक) व 1999 (कारगिज युद्ध) में प्रतिभागी रहे पूर्व सैनिकों में आनररी लेफ्टीनेन्ट सत्यप्रकाश राजपूत, हवलदार शैलेन्द्र मिश्रा, हवलदार खूब सिंह, ब्रिजेश कुमार शर्मा, अविनाश चंद्र पाराशर एवं अन्य सैनिकों के नाम शामिल हैं। बोले पूर्व सैनिक हमारी भारत सरकार ने बहुत सोच समझ कर और बहुत ही बेहतर ढंग से पाकिस्तान को उचित जवाब देने के लिए ऑपरेशन सिंदूर शुरू किया है। हमारी सेनाओं ने पाकिस्तान को करारा जवाब है। आज भी हम सेवाएं देने को तैयार हैं। -खूब सिंह सेवानिवृत हवलदार भारतीय थलसेना पहलगाम हमले के बाद भारत की जवाबी कार्यवाही शानदार रही है। पाकिस्तान के हमलों का भी भारतीय सेनाएं करारा एवं मुंहतोड़ जवाब दे रही हैं। आज भी देशभक्ति का जज्बा हमारी रगों में खून बनकर दौड़ रहा है। — शैलेंद्र कुमार मिश्र, सेवानिवृत हवलदार, भारतीय थल सेना भारतीय नौसेना में अपनी सेवाएं देते हुए, वर्ष 1971 में पाकिस्तान के साथ हुए युद्ध में मैंने सक्रिय रूप से भाग लिया है। अभी भी भारत सरकार एवं प्रशासन को हम अपनी सेवाएं देने के लिए तैयार हैं। -सत्यप्रकाश राजपूत, सेवानिवृत लेफ्टिनेंट, भारतीय नौसेना (उपाध्यक्ष सैनिक बंधु कासगंज) आतंकी आकाओं ने देश के 26 निर्दोष नागरिकों की हत्या करके बहुत ही निंदनीय कृत्य को अंजाम दिया था। हमारी सेना ने ऑपरेशन सिंदूर से आतंकियों के मुंह पर कराराय तमाचा मारा है। -धर्मेंद्र सिंह सोलंकी सेवानिवृत कैप्टन, भारतीय थलसेना (जिलाध्यक्ष पूर्व सैनिक संगठन कासगंज) दुश्मन देश के प्रति भारतीय सेनाओं की सैन्य कार्यवाही ने सेवनिवृत हो चुके जनपद के सैन्य कर्मियों को एकबार फिर से दो गुने उत्साह एवं जज्बे से भर दिया है। तो हम मां भारती की रक्षा के लिए अपना सर्वस्व न्यौछावर कर देंगे। -रमेश चंद्र, सेवानिवृत पैटी अफसर, भारतीय नौसेना पहलगाम हमले के बाद हमारे देश की सेनाओं जो ऑपरेशन सिंदूर चालू किया है। उसमें पड़ोसी मुल्क पाकिस्तान को बहुत बुरी तरह से अपने मुंह की खानी पड़ रही है। हम आपात परिस्थितियों में देश की सेवा करने कोे उत्साह सेे खड़े हैं। -डालचंद्र, सेवानिवृत आज पूरा पाकिस्तान एवं वहां बैठे आतंकी कमांडर अपनी उन्हीं गलतियों का अंजाम भुगत रहे हैं। हमारी तीनों सेना अदम्य साहस से पाकिस्तान के हर नाकाम हमले का बाजिव जवाब दे रही हैं। -ओमबाबू शर्मा, सेवानिवृत वारंट अफसर, वायुसेना (उपाध्यक्ष पूर्व सैनिक संगठन कासगंज)सूबेदार,थलसेना मैं शुरू से ही फाइटर स्ट्रीम से रहा हूँ। वायुसेना को मैं 29 वर्ष 20 दिन तक अपनी सेवाएं प्रदान कर चुका हूँ। हमारी सेनाएं पूरे जोश एवं जुनून के साथ पाकिस्तान के नापाक मंसूबों को विफल करने में लगी हुई हैं। -रामखिलाड़ी कुशवाहा, सेवानिवृत वारंट अफसर, वायुसेना मेरे स्वर्गीय पति भी भारतीय सेना में अपनी सेवाएं दे चुके हैं। पाकिस्तान के आतंकियों ने पहलगाम में अनेक महिलाओं के सुहाग मिटाने का जो दुष्कृत्य किया था। ऑपरेशन सिंदूर के तहत भारत सरकार एवं भारतीय सेनाओं ने उन्हें इस कृत्य का सही प्रतिउत्तर दे रही हैं। -विमलेश कुमारी पहलगाम में आतंकी हमले में गई 26 लोगों की जान का बदला सेना ऑपरेशन सिंदूर के माध्यम से ले रही है। भारतीय सेना ने पाकिस्तान के आतंकी ठिकानों पर सटीक हमला करके उसकी कमर तोड़ दी है। मेरे पिता स्वर्गीय तुकमान सिंह ने नायक के पद पर अपनी सेवाएं दी थीं। -रेखा सिंह आज हमारी सेनाओ की हालत पहले जैसी नहीं है। अब हमारी सेनाएं सभी प्रकार के युद्ध कौशल में पारंगत हैं। वह किसी भी स्थिति ने निपटने के लिए तैयार हैं। एक बार फिर पाकिस्तान को अपने मुंह की खानी पड़ेगी। देश का हर नागरिक सेनाओं पर गर्व कर रहा है। -डॉ. सत्येंद्र सिंह राठौर मेरे पिता भी सेना में रहकर भारत माता सेवा कर चुके हैं। आज देश की सेनाएं सभी मोर्चों पर डटकर मुकाबला करते हुए पाकिस्तान को परास्त करने में जुटी हुई हैं। यदि अवसर मिलता है, तो हम देश की सेवा करके देश के प्रति अपने अपना सर्वस्व लुटाने को तैयार हैं।-दीपक सिंह भारत की सेना पहलगाम में गई 26 लोगों की जान का बदला आतंकी ठिकानों को बर्बाद करके ले रही है। भारतवासी एक जुट हैं और सेना के हर कदम के साथ खड़े हैं। सरकार को आतंकी ठिकानों को बर्बाद करने के बाद ही ऑपरेशन सिंदूर रोकना होगा। -शरद पांडेय बैसरन घाटी में हमला करके आतंकियों ने बहुत ही निंदनीय एवं घृणित वारदात को अंजाम दिया था। अब भारतीय सेनाएं ऑपरेशन सिंदूर के तहत पाकिस्तान में फैली आतंकवाद की जड़ों को नेस्तनाबूत करने में जुट गई हैं। पाकिस्तान हमले को कामयाब नहीं होने दिया है। -आदित्य दुबे हिन्दुस्तान के बोले कासगंज के तहत आयोजित संवाद में भारत और पाकिस्तान युद्ध पर अपनी राय देते पूर्व सैनिक। इस दौरान उन्होंने सरकार से अपील कि इस बार पाकिस्तान को कड़ा सबक सिखाया जाए, अगर जरूरत पड़ी तो वह भी युद्ध के लिए तैयार हैं।
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