Kidney Issues Surge Due to Uncontrolled BP Diabetes and Obsession with Fitness अस्वस्थ जीवनशैली से बिगड़ रही किडनी की सेहत, Aligarh Hindi News - Hindustan
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अस्वस्थ जीवनशैली से बिगड़ रही किडनी की सेहत

Aligarh News - बदलती जीवनशैली और लापरवाह आदतें किडनी रोगों की बढ़ती संख्या का कारण बन रही हैं। सरकारी और निजी अस्पतालों में डायलिसिस कराने वाले मरीजों की संख्या बढ़ रही है। 150 मरीज प्रतिदिन किडनी समस्याओं के लिए...

Newswrap हिन्दुस्तान, अलीगढ़Mon, 17 March 2025 03:41 AM
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अस्वस्थ जीवनशैली से बिगड़ रही किडनी की सेहत

- बेकाबू बीपी-शुगर और फिटनेस की सनक नुकसानदायक - सरकारी व निजी अस्पतालों में डायलिसिस की संख्या बढ़ी

अलीगढ़, वरिष्ठ संवाददाता। बदलती जीवनशैली और लापरवाह आदतें किडनी को खतरनाक बीमारियों की ओर धकेल रही हैं। एक ओर जहां बेकाबू ब्लड प्रेशर (बीपी) और डायबिटीज किडनी फेल्योर का बड़ा कारण बन रहे हैं, वहीं दूसरी ओर फिट रहने की सनक में जरूरत से ज्यादा वर्कआउट करने वाले भी अपनी किडनी को नुकसान पहुंचा रहे हैं। सरकारी व निजी अस्पतालों में डायलिसिस कराने वालों की संख्या बढ़ रही है।

अस्पतालों की ओपीडी में आने वाले मरीजों के आंकड़े चौंकाने वाले हैं। हर दिन करीब 150 मरीज किडनी संबंधी समस्याओं के साथ इलाज के लिए पहुंच रहे हैं। जांच में सामने आया कि 30 प्रतिशत मरीजों का ब्लड प्रेशर बहुत ज्यादा था, जबकि 50 प्रतिशत मरीजों की किडनी का खराब होने की वजह अनियंत्रित डायबिटीज बनी। इसके अलावा, 20 प्रतिशत मरीज दर्द निवारक गोलियों का ज्यादा सेवन, मोटापा और अन्य कारणों से किडनी रोग के शिकार हो रहे हैं। किडनी रोग विशेषज्ञ डॉ. अंकुर वाष्र्णेय बताते हैं कि अधिकतर किडनी रोगी उच्च रक्तचाप और डायबिटीज की वजह से अस्पताल पहुंच रहे हैं। इससे किडनी धीरे-धीरे सिकुड़ने लगती है और सही समय पर इलाज न मिले तो डायलिसिस या ट्रांसप्लांट के अलावा कोई विकल्प नहीं बचता। नॉन कम्युनिकेबल डिजीज (एनसीडी) सेल के रिकार्ड के अनुसार, इस वित्तीय वर्ष में डायबिटीज के 32,383 मरीज चिह्नित किए गए। इनमें महिलाओं की संख्या 16,433 है। जबकि, उच्च रक्तचाप के कुल 16,866 मरीजों में 7,957 महिलाएं हैं।

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बॉडी बिल्डिंग से बढ़ रहा किडनी का खतरा

आजकल लोग फिटनेस को लेकर इतने जुनूनी हो गए हैं कि वे अपनी सेहत से जुड़ी अहम बातों को नजरअंदाज कर रहे हैं। अत्यधिक व्यायाम से मांसपेशियों पर अतिरिक्त दबाव पड़ता है, जिससे मायोग्लोबिन नामक प्रोटीन निकलता है। यह प्रोटीन जब अधिक मात्रा में खून में घुलता है तो किडनी को इसे फिल्टर करने में दिक्कत होती है। इससे किडनी फेल्योर और स्टोन बनने का खतरा बढ़ जाता है। डॉक्टरों के मुताबिक पांच प्रतिशत किडनी के मरीज अत्यधिक वर्कआउट और बॉडी बिल्डिंग से प्रभावित हैं।

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कैसे बचाएं अपनी किडनी?

-बीपी और शुगर कंट्रोल रखें : समय-समय पर जांच करवाएं और डॉक्टर की सलाह लें।

-संतुलित व्यायाम करें : जरूरत से ज्यादा वर्कआउट करने से बचें और एक्सपर्ट से सही गाइडेंस लें।

-डिहाइड्रेशन से बचें : पर्याप्त मात्रा में पानी पिएं ताकि किडनी सही तरीके से काम कर सके।

-दर्द निवारक दवाओं से परहेज : जरूरत पड़ने पर ही डॉक्टर की सलाह से दवा लें।

-संतुलित आहार लें : ज्यादा नमक, जंक फूड और अत्यधिक प्रोटीन डाइट से बचें।

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