Financial Crisis for 389 Private Schools Delayed Payments of 8 to 25 Lakhs by Education Department निजी स्कूलों में आरटीई के भुगतान का संकट, Haldwani Hindi News - Hindustan
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निजी स्कूलों में आरटीई के भुगतान का संकट

स्कूल संचालकों के आठ से 25 लाख रुपये तक है बकाया शिक्षा विभाग की

Newswrap हिन्दुस्तान, हल्द्वानीMon, 14 April 2025 11:28 AM
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निजी स्कूलों में आरटीई के भुगतान का संकट

स्कूल संचालकों के आठ से 25 लाख रुपये तक है बकाया शिक्षा विभाग की देरी से 389 निजी स्कूल संचालक हो रहे परेशान

हल्द्वानी, वरिष्ठ संवाददाता। शिक्षा का अधिकार अधिनियम (आरटीई) के तहत निजी स्कूलों में निर्धन बच्चों को मुफ्त शिक्षा प्रदान करने वाले स्कूल संचालकों के सामने गंभीर वित्तीय संकट खड़ा हो गया है। जिले के 389 निजी स्कूल संचालकों का शिक्षा विभाग पर 8 से 25 लाख रुपये तक का भुगतान बकाया है। विभागीय देरी के कारण स्कूल संचालक परेशान हैं। इस बीच नए शैक्षणिक सत्र के लिए आरटीई के तहत प्रवेश प्रक्रिया भी शुरू हो चुकी है। इस बार 376 स्कूलों में 2205 छात्रों के प्रवेश होने हैं।

आरटीई के तहत निजी स्कूलों में 25 प्रतिशत सीटों पर आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग के बच्चों को मुफ्त शिक्षा दी जाती है। जिसका खर्च सरकार वहन करती है। पिछले दो से तीन साल से भुगतान में देरी ने स्कूलों के वित्तीय प्रबंधन को प्रभावित किया है। कई स्कूल संचालकों का कहना है कि बकाया राशि न मिलने से उन्हें बैंक लोन और अन्य वित्तीय संस्थानों का सहारा लेना पड़ रहा है। साल 2024-25 की 9 करोड़ से अधिक की राशि का भुगतान नहीं हो पाया है।

आरटीई के तहत इनका होता है भुगतान

आरटीई के तहत निजी स्कूलों में आर्थिक रूप से कमजोर बच्चों को मुफ्त शिक्षा के लिए सरकार ने खर्च निर्धारित किया है। स्कूलों को फीस, मिड-डे मील (एमडीएम), ड्रेस और किताबों के लिए भुगतान किया जाता है। स्कूल फीस अधिकतम 1,893 रुपये प्रति माह, एमडीएम के लिए नर्सरी से कक्षा पांच तक 2,229 रुपये और कक्षा छह से आठ तक 2,838 रुपये (230 स्कूली दिनों के लिए) दी जाती है। ड्रेस के लिए सालाना 600 रुपये, किताबों के लिए नर्सरी से कक्षा पांच तक 250 रुपये और कक्षा छह से आठ तक 400 रुपये प्रदान किए जाते हैं।

कोट

निजी स्कूल बच्चों को मुफ्त शिक्षा देने के लिए प्रतिबद्ध हैं, लेकिन सरकार की ओर से समय पर भुगतान न होने से स्कूलों का संचालन मुश्किल हो गया है। जल्द बकाया भुगतान किया जाना चाहिए।

कैलाश भगत,अध्यक्ष पब्लिक स्कूल एसोसिएशन हल्द्वानी

कोट

आरटीई के तहत भुगतान की प्रक्रिया चल रही है और जल्द ही बकाया राशि स्कूलों को हस्तांतरित कर दी जाएगी।

पुष्कर लाल टम्टा, जिला शिक्षाधिकारी माध्यमिक

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