6 lakhs to family of rapist, job promised too BJP making big allegation on Soren government रेपिस्ट के परिवार को दिए 6 लाख, नौकरी का वादा भी; किस मामले को लेकर सोरेन सरकार पर भड़की भाजपा, Jharkhand Hindi News - Hindustan
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रेपिस्ट के परिवार को दिए 6 लाख, नौकरी का वादा भी; किस मामले को लेकर सोरेन सरकार पर भड़की भाजपा

विवाद की शुरुआत 14 मई बुधवार को तब हुई जब मंत्री इरफान अंसारी मृत युवक के घर पहुंचे और उसके परिवार को ढांढस बंधाते हुए 6 लाख रुपए की आर्थिक मदद देने के अलावा उसके परिवार के एक सदस्य को नौकरी देने का वादा करके आए।

Sourabh Jain लाइव हिन्दुस्तान, रांची, झारखंडSat, 17 May 2025 12:07 AM
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रेपिस्ट के परिवार को दिए 6 लाख, नौकरी का वादा भी; किस मामले को लेकर सोरेन सरकार पर भड़की भाजपा

झारखंड में लोगों की पिटाई से मारे गए शख्स के परिवार को राज्य सरकार द्वारा मुआवजा देने व परिवार के सदस्य को नौकरी देने की घोषणा के बाद इन दिनों एक नया विवाद खड़ा हो गया है। विपक्षी दल भाजपा ने मृतक मुस्लिम युवक को बलात्कारी बताते हुए राज्य सरकार के इस कदम का विरोध किया है और इसे आदिवासी पीड़िता का अपमान व मुस्लिम तुष्टिकरण बताया है। वहीं राज्य के स्वास्थ्य मंत्री इरफान अंसारी ने युवक को मॉब लिंचिंग का शिकार बताते हुए भाजपा पर धर्म की राजनीति करने का आरोप लगाया है।

दरअसल इस विवाद की शुरुआत 14 मई बुधवार को तब हुई जब मंत्री इरफान अंसारी मृत युवक के घर पहुंचे और उसके परिवार को ढांढस बंधाते हुए 6 लाख रुपए की आर्थिक मदद देने के अलावा उसके परिवार के एक सदस्य को नौकरी देने का वादा करके आए। इस बात की जानकारी उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स एक पोस्ट शेयर करते हुए भी दी।

उनकी इसी पोस्ट को शेयर करते हुए झारखंड भाजपा के अध्यक्ष और विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष बाबूलाल मरांडी ने सरकार की मंशा पर सवाल उठाया और उस पर दुष्कर्मी की मदद करने और पीड़िता की अनदेखी करने का आरोप लगाया। अपनी पोस्ट की शुरुआत करते हुए उन्होंने लिखा, 'दुष्कर्मी के लिए मुआवज़ा, पीड़िता के लिए मौन,यही है हेमंत सोरेन का झारखंड मॉडल'। इसके बाद उन्होंने पूरी घटना को बताते हुए मारे गए युवक के बलात्कारी होने का दावा किया। उन्होंने लिखा, 'बोकारो के कडरूखुट्ठा गांव में एक आदिवासी महिला तालाब में स्नान करने गई थी। इसी दौरान गांव में काम कर रहा अब्दुल कलाम, महिला से छेड़खानी करता है और दुष्कर्म की कोशिश करता है। महिला चिल्लाती है, ग्रामीण जुटते हैं, और आरोपी की जमकर पिटाई होती है। पिटाई के दौरान उसकी मौत हो जाती है। घटना दुखद है, क्योंकि कानून को हाथ में लेना सही नहीं।'

'लेकिन उससे भी ज़्यादा शर्मनाक है इसके बाद झारखंड सरकार और कांग्रेस नेताओं की प्रतिक्रिया, जिन्होंने पीड़िता को भूलकर पूरी संवेदना उस व्यक्ति के लिए लुटा दी जो एक आदिवासी महिला का बलात्कार करना चाहता था।'

'कांग्रेस विधायक इरफान अंसारी ने पूरे मामले को 'मॉब लिंचिंग' कहकर मुस्लिम उत्पीड़न की कहानी बना दी। हेमंत सोरेन सरकार ने तत्काल अब्दुल कलाम के परिवार को 4 लाख रुपए मुआवज़ा, 1 लाख रुपए सहायता राशि और स्वास्थ्य विभाग में नौकरी तक ऑफर कर दी। एक बलात्कारी के साथ शहीद जैसी राजकीय सहानुभूति!'

'यह समझना बहुत अहम है कि राज्य और तथाकथित सेक्युलर ‘विचारधारा’ ने इस मामले को कैसे पलट दिया।' आगे इरफान अंसारी को निशाने पर लेते हुए मरांडी ने लिखा, ‘इरफान अंसारी जैसे नेता इस मुद्दे को साम्प्रदायिक रंग देकर आदिवासी समाज के घाव पर नमक छिड़कते हैं, जबकि झारखंड सरकार पूरी तरह वोटबैंक तुष्टिकरण में लिप्त है।’

उन्होंने लिखा, 'बलात्कारी अगर “राजनीतिक रूप से सुरक्षित समुदाय” से हो, तो उसके घर को ही ‘पीड़ित परिवार’ घोषित कर दिया जाता है'।

इसके बाद उन्होंने हेमंत सोरेन सरकार से सवाल पूछते हुए कहा, क्या आदिवासी अब इस राज्य में दोयम दर्जे के नागरिक हैं? क्या आदिवासी स्त्रियों की अस्मिता अब आपकी राजनीति के लिए ‘दूसरी प्राथमिकता’ बन चुकी है? या सिर्फ इसलिए चुप हैं क्योंकि यह मामला ‘धर्मनिरपेक्ष नैरेटिव’ के खिलाफ जाता है?'

अपनी पोस्ट की अंत में उन्होंने लिखा, 'झारखंड की सरकार ने एक आदिवासी महिला की चीखों को अनसुना कर दिया — सिर्फ इसलिए कि आरोपी की पहचान उनके 'वोटबैंक' से मेल खाती थी।'