Development Project Meeting in Vishunpur Focus on Long-term Changes and Local Employment विशुनपुर में संसदीय संकुल विकास परियोजना की बैठक में दीर्घकालीन बदलाव पर जोर, Ghumla Hindi News - Hindustan
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विशुनपुर में संसदीय संकुल विकास परियोजना की बैठक में दीर्घकालीन बदलाव पर जोर

विशुनपुर में संसदीय संकुल विकास परियोजना की बैठक में दीर्घकालीन बदलाव पर जोर विशुनपुर में संसदीय संकुल विकास परियोजना की बैठक में दीर्घकालीन बदलाव पर

Newswrap हिन्दुस्तान, गुमलाSun, 27 April 2025 11:38 PM
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विशुनपुर में संसदीय संकुल विकास परियोजना की बैठक में दीर्घकालीन बदलाव पर जोर

गुमला संवाददाता जिले के विशुनपुर स्थित विकास भारती के अम्बेडकर सभागार में रविवार संसदीय संकुल विकास परियोजना की बैठक आयोजित हुई।

राष्ट्रीय संगठक वी.सतीश की अध्यक्षता वाले इस बैठक की शुरुआत पहलगाम में हुए आतंकी हमले के मृतकों की स्मृति में दो मिनट का मौन रखकर की गई। मौके पर राष्ट्रीय संगठक वी.सतीश ने कहा कि संकुल परियोजना के तहत तात्कालिक नहीं,बल्कि दीर्घकालीन बदलाव के लिए कार्य योजना बनाई गई है। उन्होंने किसानों और ग्रामीणों से आह्वान किया कि वे इस प्रयास में सहयोग करें और अपने गांव का विकास सुनिश्चित करें। उन्होंने कहा कि गुमला जिले का विशुनपुर प्रखंड इस परियोजना के बड़े स्तर पर शुभारंभ का साक्षी बना है,जो एक महत्वपूर्ण उपलब्धि है। आईएसडीजी के सीओ देवाशीष जे ने भी जनजातीय समुदाय के पलायन को रोकने और स्थानीय स्तर पर रोजगार सृजन के प्रयासों की बात कही। उन्होंने निजी कंपनियों के सीएसआर फंड का भी उपयोगी दिशा में लगाने पर बल दिया। पूर्व सांसद समीर उरांव ने कहा कि पूरे भारत के 47 लोकसभा क्षेत्रों में इस परियोजना पर काम हो रहा है। जिसमें झारखंड का विशुनपुर पहला ब्लॉक है। उन्होंने बताया कि पहले जनजातीय समुदाय के लोग जीवन यापन के लिए पलायन करते थे,लेकिन इस परियोजना के चलते अब स्थिति में सकारात्मक बदलाव देखा जा रहा है।विकास भारती के संयुक्त सचिव महेंद्र भगत ने कहा कि जनजातीय समाज को शिक्षा और विकास की मुख्यधारा से जोड़ने के लिए योजनाबद्ध कार्य हो रहा है। नाबार्ड बाड़ी परियोजना के तहत तीन सौ एकड़ में बागवानी और सोलर खेती कर रोजगार सृजन के प्रयास किए जा रहे हैं। कार्यक्रम के उतर्राद्ध में दुर्गा स्वयं सहायता समूह चिंगरी और रांगे महुआ फूल उत्पादन स्वयं सहायता समूह को ओएनजीसी द्वारा प्रदत्त ई-रिक्शा वितरित किया गया। कार्यक्रम में कृषि विज्ञान केंद्र के वरीय वैज्ञानिक डॉ. संजय पांडेय, समाजसेवी भिखारी भगत, एनडीटीसी के प्रधान समन्वयक पंकज, विशुनपुर मुखिया रामप्रसाद बड़ाइक सहित 150 से अधिक किसान उपस्थित थे।

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