रांची की तर्ज पर 48 निकायों में बनेगा क्षेत्रीय विकास प्राधिकरण, ड्रोन बेस्ट सर्वे होगा
नगर विकास विभाग मंत्री अध्यक्षता में हुई समीक्षा बैठक, जलापूर्ति योजनाओं में तेजी लाने का निर्देश

रांची, हिन्दुस्तान ब्यूरो। राज्य के 49 नगर निकायों में बढ़ते शहरीकरण के कारण आवासों को रेगुलाइज करने की दिशा में नगर विकास विभाग ने एक बड़ा फैसला किया है। रांची में कार्यरत क्षेत्रीय विकास प्राधिकरण (आरडीए) की तर्ज पर अब राज्य के अन्य 48 निकायों में इसी तरह का प्राधिकरण गठित किया जाएगा।
प्राधिकरण गठित करने का उद्देश्य नगर निगम, नगर पंचायत, नगर परिषद एवं नगर पालिका में भविष्य में बढ़ते शहरीकरण को देखते हुए मकानों को रेगुलाइज करना है। इस निर्णय पर सहमति विभागीय मंत्री सुदिव्य कुमार की अध्यक्षता में हुई समीक्षा बैठक में ली गई है। बैठक में एक महत्वपूर्ण निर्णय यह हुआ है कि रांची नगर निगम में राजस्व संग्रहण की बढ़ोतरी पर काम किया जाए। इसके लिए विभाग पहली बार आरएमसी द्वारा ड्रोन बेस्ट प्रॉपर्टी सर्वे कराया जाएगा। राजस्व बढ़ोतरी के अच्छे परिणाम आने के बाद इसे संपूर्ण राज्य में प्रभावी किया जाएगा। समीक्षा बैठक में नगर विकास सचिव सुनील कुमार, सूडा निदेशक अमित कुमार, रांची नगर निगम के आयुक्त संदीप कुमार सहित विभाग और जुड़को के अधिकारी उपस्थित थे।
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लंबित जलापूर्ति योजना के लिए एनओसी लेने का निर्देश
समीक्षा बैठक में शहरी जलापूर्ति योजना, प्रधानमंत्री आवास योजना, अमृत-2, राष्ट्रीय शहरी आजीविका मिशन (एनयूएलएम) आदि पर भी विस्तृत समीक्षा की गई। जलापूर्ति योजना को लेकर उन योजना पर विशेष फोकस किया गया है, जो अन्य विभागों से एनओसी नहीं मिलने के कारण लंबित है। इसमें रांची जलापूर्ति योजना शामिल है। बता दें कि वित्तीय वर्ष 2025-26 में अमृत योजना अंतर्गत स्वीकृत की गई रांची शहरी जलापूर्ति (फेज-1), चास शहरी जलापूर्ति एवं आदित्यपुर सीवरेज प्रबंधन योजना का निर्माण कार्य पूरा करना है। इसी तरह अमृत 2.0 अंतर्गत स्वीकृत 10 जलापूर्ति परियोजनाएं का निर्माण कार्य 11 नगर निकायों यथा- चास, गिरिडीह, धनवार, कपाली, गुमला, लोहरदगा, विश्रामपुर, बरहरवा, श्री बंशीधर नगर, छत्तरपुर एवं हरिहरगंज में प्रारंभ किया जाना है।
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निर्माणाधीन आवासों को पूरा करने पर होगा काम
प्रधानमंत्री आवास योजना (शहरी) में लाभार्थी-नेतृत्व वाली व्यक्तिगत आवास निर्माण या संवर्धन (बीएलसी) और सार्वजनिक या निजी क्षेत्र के साथ साझेदारी में किफायती आवास (एएचपी) में निर्माणाधीन आवासों को पूरा किया जाएगा। बीएलसी में कुल 49,628 निर्माणाधीन और एएचपी में 14,362 निर्माणाधीन आवासों को पूरा किया जाना है।
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एनयूएलएम में चल रही योजनाओं में तेजी लाने का निर्देश
समीक्षा बैठक में विभिन्न नगर निकायों में राष्ट्रीय शहरी आजीविका मिशन (एनयूएलएम) अंतर्गत चल रही योजनाओं में भी तेजी लाने का निर्देश दिया गया। इसमें स्वयं सहायता समूह गठन, शहरी गरीबों को सूक्ष्म उद्यमों की स्थापना के लिए अनुदान पर बैंकों से ऋण दिलाने, शहरी पथ विक्रेताओं के लिए शिकायत निवारण एवं विवादों का निपटारा और बचे नगर निकायों में सुविधायुक्त आश्रय गृहों का संचालन करना शामिल है। केंद्रीय आवास एवं शहरी कार्य मंत्रालय द्वारा शहरी गरीबी उन्मूलन की नई योजना दीनदयाल जन आजीविका योजना (शहरी) प्रस्तावित है। इसे योजना पर भी समीक्षा बैठक में चर्चा की गई।
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