जिन्न की औलाद बताकर नहर में फेंकने वाली मां अरेस्ट,36 घंटे बाद मिला मासूम का शव
पुलिस प्रवक्ता ने बताया कि आरोपी मां की पहचान सैनिक कॉलोनी निवासी मेघा लुकरा और महिला तांत्रिक की पहचान मूलरूप से पश्चिम बंगाल निवासी मिता भाटिया के रूप में हुई है। तांत्रिक भी सैनिक कॉलोनी में ही परिवार के साथ रहती है।

जिन्न की औलाद समझकर बच्चे को आगरा नहर में फेंकने वाली आरोपी मां और उसे बहकाने वाली महिला तांत्रिक को बीपीटीपी थाना की पुलिस ने गिरफ्तार किया है। 36 घंटे बाद आगरा नहर से मासूम के शव को भी ढूंढ़ लिया। पुलिस प्रवक्ता ने बताया कि आरोपी मां की पहचान सैनिक कॉलोनी निवासी मेघा लुकरा और महिला तांत्रिक की पहचान मूलरूप से पश्चिम बंगाल निवासी मिता भाटिया के रूप में हुई है। तांत्रिक भी सैनिक कॉलोनी में ही परिवार के साथ रहती है। रविवार रात करीब नौ बजे मेघा लुकरा ने बीपीटीपी पुल से अपने दो वर्षीय बेटे तन्मय उर्फ रौनिक को आगरा नहर में फेंक दिया।
मेघा के पति कपिल लुकरा ने शिकायत में बीपीटीपी थाना की पुलिस को बताया था कि उनका इंटिरियर का कारोबार है। उनके दो बच्चे हैं। बड़ी बेटी मान्या करीब 14 साल की है। जबकि तन्मय उर्फ रौनिक करीब दो साल का था। पीड़ित के अनुसार उसकी पत्नी मेघा लुकरा काफी समय से मिता भाटिया नामक एक तांत्रिक के संपर्क में थी। तांत्रिक मिता भाटिया तन्मय उर्फ रौनिक को सफेद जिन्न की औलाद बताकर मधु लुकरा को उकसाती थी। साथ ही कहती थी कि सफेद जिन्न का औलाद उसके पूरे परिवार का विनाश करेगा। इससे मघु लुकरा मानिसिक रूप में रहने लगी। उसके बहकावे में आकर मेघा लुकरा ने रविवार को बेटे तन्मय को आगरा नहर में फेंक दिया।
पुलिस पूछताछ में सामने आया है कि गिरफ्तार महिला तांत्रिक मिता भाटिया तंत्र-मंत्र विद्या में विश्वास रखती है। मेघा उसके पास आती रहती थी। मेघा को उसने बताया था कि उसका दो वर्षीय बेटा जिन्न के रूप में पैदा हुआ है, वह उसके परिवार को खत्म कर देगा, बेटे को मारना जरूरी है। ऐसे में उसने अपने बेटे को आगरा नहर में फेंक दिया। पुलिस का कहना है कि निशानदेही पर 36 घंटे बाद मासूम का शव नहर से ढूंढ़ लिया गया है।