शहर के 234 पार्क में एसटीपी के शोधित पानी से हरियाली बढ़ेगी
फरीदाबाद में 234 पार्कों को सीवर शोधन संयंत्र (एसटीपी) के पानी से हरा-भरा किया जाएगा। 11 माइक्रो एसटीपी प्लांट स्थापित किए जाएंगे, जो रोजाना 500 लीटर पानी शोधित करेंगे। योजना का उद्देश्य पेयजल की बचत...
फरीदाबाद। स्मार्ट सिटी के 234 पार्क में सीवर शोधन संयंत्र (एसटीपी) के पानी से हरे-भरे होंगे। शोधित पानी से पौधों की सिंचाई की जाएगी। शहर के 11 स्थानों पर माइक्रो एसटीपी प्लांट लगाए जाएंगे। रोजाना 500 लीटर पानी शोधित किया जाएगा। पार्कों के बाद अतिरिक्त बचे पानी को अग्निशमन विभाग के कार्यों में इस्तेमाल होगा। इससे जहां पेयजल की बचत होगी। वहीं पार्कों को हरा भरा बनाने में मदद मिलेगी। शहर में 700 से अधिक पार्क हैं। इन पार्कों की सिंचाई अभी आसपास लगे पेयजल कनेक्शन और टैंकरों के पानी से की जाती है, जिससे एक तरफ जहां पानी की बर्बादी होती है, वहीं लोगों को पेयजल संकट का सामना करना पड़ता है।
कुछ पार्क ऐसे हैं पानी के अभाव में बंजर पड़े हैं। पार्कों की खास खत्म हो चुकी है। हरियाली कम हो गई है। इसे देखते हुए फरीदाबाद महानगर विकास प्राधिकरण (एफएमडीए) ने एसटीपी के पानी से पार्कों में सिंचाई की योजना तैयार की है। योजना के तहत प्रथम चरण में सेक्टर-4, 9, 10, 11, 12, 13, 14, 15, 16, 17, 18, 19, 28, 29, 30, 31, 32, 33, 34, 35, 37 और 57 जैसे घनी आबादी वाले पार्कों को कवर किया जाएगा। इन क्षेत्रों को तीन जोनों में बांटा गया है। अत्याधुनिक तकनीक से लैस होंगे एसटीपी योजना के तहत 500 केएलडी की क्षमता वाले 11 माइक्रो एसटीपी लगाए जाएंगे। इनसे रोजाना छह एमएलडी पानी शोधित किया जाएगा। यह सभी एसटीपी अत्याधुनिक एमबीबीआर तकनीक पर आधारित होंगे और रियल-टाइम जोन प्रणाली से लैस होंगे। इससे पानी की गुणवत्ता और प्रक्रिया की पारदर्शिता बनी रहेगी। एसटीपी प्लांट में तीन स्तर पर पानी शोधित किया जाएगा, जिससे बीओडी, सीओडी, पीएच, टीएसएस और रोगाणु आदि सभी मानकों को पूरा किया जा सकेगा। जिससे इसका उपयोग गैर-पीने योग्य कार्यों, विशेष रूप से बागवानी और अग्निशमन में किया जा सकेगा। शोधित पानी को विशेष रूप से सेक्टर-15 और सेक्टर-31 में अग्निशमन के लिए इस्तेमाल किया जाएगा। ऑनलाइन निगरानी होगी एफएमडीए की ओर से ऑनलाइन जल गुणवत्ता निगरानी प्रणाली स्थापित की जाएगी, जो लगातार पानी के मानकों की जांच करेगी। इसकी रिपोर्ट सोशल मीडिया और वेबसाइट के माध्यम से साझा की जाएगी। इससे लोगों को भी पारदर्शी जानकारी मिलती रहेगी और भरोसा बना रहेगा। यह योजना हरियाली को संरक्षित रखने और जल संकट से निपटने की दिशा में बड़ा कदम है। प्राधिकरण की ओर से पार्कों में एसटीपी के पानी से सिंचाई की योजना तैयार की गई है। दूषित पानी को जहां बेहतर रूप से इस्तेमाल किया जा सकेगा। वहीं स्वच्छ पानी की बचत हो सकेगी। -देवेंद्र कुमार, प्रबंधक, मेट्रोपॉलिटियन ग्रीन, एफएमडीए
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