जामिया आरसीए के 32 छात्र यूपीएससी की सिविल सेवा में चयनित
-चयनित 32 उम्मीदवारों में से 12 महिलाएं हैं नई दिल्ली। प्रमुख संवाददाता

-चयनित 32 उम्मीदवारों में से 12 महिलाएं हैं नई दिल्ली। प्रमुख संवाददाता
जामिया मिल्लिया इस्लामिया (जेएमआई) के आवासीय कोचिंग अकादमी (आरसीए) में कोचिंग और प्रशिक्षण प्राप्त करने वाले 32 उम्मीदवारों का यूपीएससी की सिविल सेवा परीक्षा 2024 में चयन हुआ है। आरसीए के कुल 78 छात्र साक्षात्कार में शामिल हुए थे जिनमें से 32 का अंतिम रूप से चयन किया गया है। चयनित 32 उम्मीदवारों में से 12 महिलाएं हैं।
चयनित 32 उम्मीदवारों में से कुछ को आईएएस और आईपीएस सेवाएं मिलने की संभावना है और शेष उम्मीदवारों को उनकी रैंकिंग और पसंद के अनुसार ग्रुप-ए की आईआरएस, ऑडिट एंड अकाउंट सर्विस, आईआरटीएस और अन्य संबद्ध सेवाएं मिलने की संभावना है।
इस वर्ष आरसीए से सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने वाले जामिया की कोचिंग से पढ़ाई करने वाले अल्फ्रेड थॉमस ने अखिल भारतीय 33वीं रैंक हासिल की है। उनके बाद इरम चौधरी हैं जिन्होंने 40वीं रैंक हासिल की है और रुचिका झा हैं जिनकी रैंक 51 है। इस उपलब्धि पर जामिया के कुलपति प्रो. मजहर आसिफ और जामिया मिल्लिया इस्लामिया के कुलसचिव प्रो. मोहम्मद महताब आलम रिजवी ने आरसीए द्वारा प्रशिक्षित सभी उम्मीदवारों को बधाई दी है।
जामिया मिल्लिया इस्लामिया के कुलपति प्रो. आसिफ ने कहा कि यह बहुत गर्व और संतुष्टि की बात है कि जामिया मिल्लिया इस्लामिया के आरसीए ने यह उल्लेखनीय उपलब्धि हासिल की है। उनकी सफलता भौगोलिक, आर्थिक और सामाजिक रूप से समाज के हाशिए पर रहने वाले वर्गों के उम्मीदवारों को सशक्त बनाने की हमारी प्रतिबद्धता को मजबूत करती है। हमारी महिला उम्मीदवारों ने असाधारण प्रदर्शन किया है और वे न केवल आरसीए के भावी उम्मीदवारों के लिए अपितु जामिया मिल्लिया इस्लामिया में विभिन्न पाठ्यक्रमों में भाग लेने वाली सभी लड़कियों के लिए रोल मॉडल हैं।
जामिया मिल्लिया इस्लामिया के कुलसचिव प्रो. रिज़वी ने कहा कि यूपीएससी 2024 के परिणाम देश की सबसे कठिन परीक्षाओं में से एक की तैयारी के प्रत्येक चरण में जामिया मिल्लिया इस्लामिया के आरसीए द्वारा दिए जाने वाले प्रशिक्षण की कठोर प्रकृति को दर्शाते हैं। ये परिणाम हमारे छात्रों के अटूट समर्पण और हमारे संस्थान द्वारा प्रदान किए गए असाधारण मार्गदर्शन की गवाही देते हैं। जामिया मिल्लिया इस्लामिया के आरसीए ने उत्कृष्टता का एक ऐसा पारिस्थितिकी तंत्र विकसित किया है जो देश के लिए उत्कृष्ट सिविल सेवकों को तैयार करना जारी रखता है।
आरसीए की प्रभारी प्रो. समीना बानो ने प्रशासन ने चयनित छात्रों की उनके असाधारण समर्पण और दृढ़ता के लिए सराहना की, जिसने उन्हें अंतिम चयन सूची में स्थान दिलाया।
2010 में स्थापित हुआ था आरसीए
आरसीए की स्थापना 2010 में यूजीसी द्वारा सेंटर फॉर कोचिंग एंड करियर प्लानिंग (सीसीएंडसीपी), जामिया मिल्लिया इस्लामिया के तत्वावधान में की गई थी। जिसका उद्देश्य अनुसूचित जाति , अनुसूचित जनजाति , महिला और अल्पसंख्यकों छात्रों को सिविल सेवा और अन्य प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए निःशुल्क कोचिंग और आवासीय सुविधाएं प्रदान करना है। छात्रों को अखिल भारतीय लिखित परीक्षा और उसके बाद व्यक्तिगत साक्षात्कार के आधार पर व्यापक कोचिंग के लिए चुना जाता है।
जामिया की मुख्य जनसंपर्क अधिकारी प्रो.साइमा सईद का कहना है कि यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा 2021 में टॉपर श्रुति शर्मा आरसीए से ही पढ़ाई की थी।
2010-11 से 2024 तक आरसीए ने आईएएस, आईएफएस और आईपीएस सहित लगभग 300 से अधिक सिविल सेवक तैयार किए हैं। इसके अतिरिक्त 300 से अधिक छात्रों को विभिन्न अन्य केंद्रीय और राज्य सेवाओं अर्थात सीएपीएफ, आईबी, आरबीआई (ग्रेडबी), एपीएफ, बैंक पीओ और पीसीएस आदि में भी चुना गया है।
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