Rare Chariots Discovered at Tilwara Site Linking to Mahabharata Era प्राचीनतम दुर्लभ मुद्राओं पर भी मिलता है रथ एवं रथी का अंकन, Bagpat Hindi News - Hindustan
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प्राचीनतम दुर्लभ मुद्राओं पर भी मिलता है रथ एवं रथी का अंकन

Bagpat News - तिलवाड़ा साइट से प्राप्त दुर्लभ रथों की खोज महाभारत काल की ओर इशारा करती है। एएसआई द्वारा किए गए उत्खनन में ताम्र निधि, खंजर, और मानव यौद्धा के ताबूत के साथ रथ मिले हैं। यह खोज विश्व इतिहास में...

Newswrap हिन्दुस्तान, बागपतSat, 19 April 2025 04:01 AM
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प्राचीनतम दुर्लभ मुद्राओं पर भी मिलता है रथ एवं रथी का अंकन

सिनोली के बाद तिलवाड़ा साइट से अभी तक की सबसे महत्वपूर्ण खोज के रूप में प्राप्त हुए दुर्लभतम रथ सीधे महाभारत काल की ओर इशारा करता है। ‘रथ एवं रथी के प्रमाण विभिन्न प्राचीन काल में जारी हुई दुर्लभ मुद्राओं, सील पर पूर्व में प्राप्त हो चुकी है। स्मरण रहे कि दिसंबर 2024 को छपरौली की तिलवाड़ा साइट पर एएसआई उत्खनन कार्य शुरू किया गया था। लगभग चार माह की अवधि तक यहां पर किए गए उत्खनन कार्य के दौरान टीम को ताम्र निधि मिली। अधिकांश प्राप्त पुरानिधि में ताम्र धातु का प्रयोग बहुतायत में मिला। कॉपर निर्मित बड़ी आयताकार प्लेट के अलावा खंजर और रथ तथा ताबूत के चारों ओर के पिलर/पोल, रथ की धुरी में भी कॉपर का बड़े ही सुंदर ढंग से प्रयोग होता मिला। यहां से काफी संख्या में मृदभांड, विभिन्न दुर्लभ पत्थरों के मनकें व सर्वाधिक महत्वपूर्ण प्राप्ति के रूप में लगभग 4000-4500 वर्ष प्राचीन मानव यौद्धा के ताबूत व भारतीय यौद्धा के रथ भी प्राप्त हुए हैं जोकि विश्व इतिहास की एक दुर्लभतम घटना हैं। ऐसे ही प्रमाण हाल ही सिनोली उत्खनन सभी प्राप्त हुए थे।

वरिष्ठ इतिहासकार डॉ. अमित राय जैन ने बताया कि जब हम अपने हजारों वर्ष पूर्व के वेद, ग्रंथ, उपनिषद, पुराण, भग्नावशेष, स्मारकों, मुद्राओं का तुलनात्मक अध्ययन करते हैं तो स्थिति कुछ और ही कहानी बयां करती हैं। प्राचीन इतिहास यह स्पष्ट करता है कि यह कोई मनघडंत कहानी नहीं हैं जोकि अंग्रेजों ने केवल 200 वर्ष पूर्व अपने हिसाब से गढी थी। सिनौली व तिलवाड़ा में हुए उत्खनन से स्पष्ट हुआ है कि यह पहला मामला हैं जब रथ एवं रथी यानि रथ एवं उसका यौद्धा एक साथ पाए गए हो। इसके अलावा उज्जैनी साम्राज्य के सिक्कों पर भी रथ का रथी के साथ चित्रण प्राप्त होता है जिसका काल लगभग तीसरी सदी ईसा पूर्व का हैं। नासिक क्षेत्र में प्राप्त हुई मुद्रा पुरा सात वाहनों के शासकों की हैं जिसपर अश्वरथ का अंकन हैं।

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