लोकभाषा समाज का आधार, जन जन के दिल को छूती
Lucknow News - लखनऊ, संवाददाता। नवयुग कन्या महाविद्यालय और भाषा संस्थान की ओर से साहित्य में लोकभाषा

लखनऊ, संवाददाता। नवयुग कन्या महाविद्यालय और भाषा संस्थान की ओर से साहित्य में लोकभाषा का महत्व पर व्याख्यान हुआ। मुख्य वक्ता अवध गर्ल्स पीजी कॉलेज की प्रो. रेखा गुप्ता ने कहा कि लोकभाषा, देशज भाषा और लोक प्रवृत्ति के अनुरूप है। संगोष्ठी की अध्यक्षता प्राचार्या प्रोफेसर मंजुला उपाध्याय ने की। कहा कि लोकभाषा समाज का आधार है। गोस्वामी तुलसीदास विरचित रामचरित मानस अवधी जनभाषा में होने के कारण घर-घर में सदैव लोकप्रिय रहा है। भाषा संस्थान की प्रतिनिधि डॉ. रश्मि शील ने लोकभाषा को साहित्य का प्राणतत्व बताते हुए कहा कि यह भाषा जन जन के हृदय को स्पर्श करती है, भाषा तो प्रवाहित होता हुआ नीर है। विशिष्ट वक्ता एलयू हिंदी विभाग के डॉ. राहुल पांडेय, प्रो. मंजुला यादव, डॉ. अपूर्वा अवस्थी, डॉ. अंकिता पांडेय, डॉ. मेघना यादव समेत कई अन्य शिक्षिकाएं, छात्राएं उपस्थित रहीं।
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