Tragic Death of Pregnant Woman Due to Unregulated Private Hospitals in Nichlaul निजी अस्पतालों और बिचौलियों के गठजोड़ से काल के गाल में समा रहीं प्रसव पीड़िता, Maharajganj Hindi News - Hindustan
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निजी अस्पतालों और बिचौलियों के गठजोड़ से काल के गाल में समा रहीं प्रसव पीड़िता

Maharajganj News - निचलौल क्षेत्र में निजी अस्पतालों और बिचौलियों के गठजोड़ से प्रसव पीड़ित महिलाओं की मौत हो रही है। एक प्रसूता को सीएचसी से निजी अस्पताल भेजा गया जहां अप्रशिक्षित चिकित्सकों ने उसका ऑपरेशन किया,...

Newswrap हिन्दुस्तान, महाराजगंजSat, 19 April 2025 04:21 AM
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निजी अस्पतालों और बिचौलियों के गठजोड़ से काल के गाल में समा रहीं प्रसव पीड़िता

निचलौल, हिन्दुस्तान संवाद। निचलौल क्षेत्र में संचालित निजी अस्पतालों के संचालक और बिचौलियों के गठजोड़ से प्रसव पीड़ित महिलाएं असमय काल के गाल में समा रही हैं। निजी अस्पताल संचालक सीएचसी गेट पर डेरा डाले रहते हैं। क्षेत्र से कोई भी प्रसव पीड़ित महिला आती है तो बिचौलियों से सेटिंग करके प्रसव पीड़ित महिलाओं को निजी अस्पताल पहुंचाते हैं और मोटी रकम लेकर अप्रशिक्षित हाथों से प्रसव कार्य कराते हैं।

इनमें किसी महिला का प्रसव के दौरान केस खराब होने पर पूरे इस नेटवर्क का खुलासा हो जाता है। इन निजी अस्पतालों के खिलाफ शिकायत मिलने पर स्वास्थ्य विभाग की टीमों द्वारा छापेमारी की जाती है उसके बाद फिर अस्पतालों को चलाने के लिए कुछ दिन बाद हरी झंडी भी दे दी जाती है।

निचलौल क्षेत्र के ग्राम ओड़वलिया के हनुमानगंज टोला निवासिनी इंद्रावती को बुधवार की रात में प्रसव पीड़ा होने पर उसके परिजन उसे निचलौल सीएचसी लेकर आए, सीएचसी के डॉक्टरों ने चेकअप करने के बाद पाया कि मरीज के शरीर में खून की कमी है और उसकी हालत खराब है। इसको देखते हुए डॉक्टरों ने उसे जिला अस्पताल रेफर कर दिया। इस बीच प्रसूता के परिजनों से सीएचसी गेट पर एक बिचौलिया से मुलाकात हुई और बिचौलिया ने सुरक्षित प्रसव का भरोसा देकर प्रसूता को चमनगंज चौराहा स्थित एक निजी अस्पताल पहुंचा दिया।

निजी अस्पताल पर अप्रशिक्षित हाथों से प्रसूता का ऑपरेशन किया गया और बच्चा मरा हुआ जन्म लिया इसके बाद प्रसूता की स्थिति और बिगड़ने लगी। स्थिति गंभीर देख अस्पताल संचालक ने आनन फानन में मरीज को जिला मुख्यालय भिजवा दिया। जिला अस्पताल के डॉक्टरों ने प्रसूता के मौत की पुष्टि की।

डॉक्टरों की बात मानी जाय तो प्रसूता की मौत निजी अस्पताल में ही हो गया था और अपनी जिम्मेदारी टालने के लिए अस्पताल संचालक ने उसे जिला मुख्यालय को भेज दिया। इस मामले को गंभीरता से लेते हुए सीएमओ ने निचलौल के निजी अस्पताल की ओटी सील करा दिया और इसकी जांच डॉक्टरों की तीन सदस्यीय टीम को सौंपी है।

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