घोड़ा-खच्चर पालकों को करे जागरूक
जिलाधिकारी डॉ. आशीष चौहान ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से पशु चिकित्साधिकारियों की बैठक में घोड़ा-खच्चरों की स्वास्थ्य देखभाल के निर्देश दिए। उन्होंने इक्विनफ्लुएंजा बीमारी की जागरूकता बढ़ाने और...

जिलाधिकारी डॉ. आशीष चौहान ने जिला कार्यालय से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से क्षेत्रीय पशु चिकित्साधिकारियों की बैठक ली। उन्होंने मुख्य पशु चिकित्सा अधिकारी को चारधाम यात्रा के दौरान घोड़ा-खच्चरों को बीमारियों के संबंध में शासन के निर्देशों का कड़ाई से पालन करने के निर्देश दिए। उन्होंने घोड़ा-खच्चरों में फैलने वाली संक्रामक बीमारी इक्विनफ्लुएंजा को लेकर घोड़ा-खच्चर पालकों के बीच व्यापक जागरूकता अभियान चलाने को कहा। जिलाधिकारी ने स्पष्ट किया कि जैसे ही बीमारी के लक्षण दिखें, तुरंत पशु को आराम दिया जाए, उचित खानपान की व्यवस्था की जाए और तुरंत चिकित्सकीय उपचार उपलब्ध कराया जाए। जिलाधिकारी ने बताया कि पशुओं को बीमारियों से बचाने के लिए प्रभावी दवाओं और हड्डी टूटने जैसी आपात स्थितियों में उपयोग होने वाले थॉमस स्प्लिंट जैसे उपकरणों की गुणवत्ता को और बेहतर बनाने हेतु एक वेटनरी रिसर्च ग्रुप गठित किया गया है।
इस समूह को निर्देश दिए गए हैं कि सस्ते, टिकाऊ और एडजस्टेबल उपकरण तैयार किए जाएं, जिससे पशुपालकों को सुलभ इलाज मिल सके। साथ ही, मेडिसिन की प्रभावशीलता पर भी यह समूह शोध करेगा। जिलाधिकारी ने पशु चिकित्सा के क्षेत्र में मौजूद अपार शोध संभावनाओं पर बल देते हुए कहा कि विभागीय दक्षता बढ़ाने के लिए नवाचार आवश्यक हैं। बैठक में मुख्य पशुचिकित्साधिकारी डा. आदि शामिल रहे।
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