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टाटा को झटका! जगुआर लैंड रोवर का भारत में EV बनाने का प्लान हुआ कैंसिल, इसके पीछे की वजह हैरान कर देगी

जगुआर लैंड रोवर (Jaguar Land Rover- JLR) ने अपने पैरेंट ब्रांड टाटा मोटर्स के नए 1 बिलियन डॉलर के साउथ इंडिया प्लांट में ईवी बनाने की योजना को रोक दिया है। इस फैसले की प्रमुख वजह स्थानीय रूप से मिलने वाले EV कंपोनेंट्स की प्राइस, क्वॉलिटी और इलेक्ट्रिक कारों की धीमी डिमांड है।

Sarveshwar Pathak लाइव हिन्दुस्तान, नई दिल्लीWed, 12 March 2025 07:37 PM
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टाटा को झटका! जगुआर लैंड रोवर का भारत में EV बनाने का प्लान हुआ कैंसिल, इसके पीछे की वजह हैरान कर देगी

भारत में इलेक्ट्रिक व्हीकल (EV) सेक्टर को एक बड़ा झटका लगा है। ब्रिटिश लक्जरी कार कंपनी जगुआर लैंड रोवर (Jaguar Land Rover- JLR) ने अपने पैरेंट ब्रांड टाटा मोटर्स के नए 1 बिलियन डॉलर (लगभग 8,300 करोड़) के प्लांट में इलेक्ट्रिक कारें बनाने की योजना को रोक दिया है। सूत्रों के अनुसार, इस फैसले की प्रमुख वजह स्थानीय रूप से मिलने वाले EV कंपोनेंट्स की प्राइस और क्वॉलिटी में संतुलन न बन पाना और इलेक्ट्रिक कारों की धीमी डिमांड है। आइए जरा विस्तार से इसकी डिटेल्स जानते हैं।

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भारत में JLR के EV प्रोजेक्ट पर लगा ब्रेक

इकोनॉमिक टाइम्स की एक रिपोर्ट के मुताबिक, JLR पिछले दो महीनों से भारत में इलेक्ट्रिक वाहनों के निर्माण से जुड़ी गतिविधियों को रोक चुका है। भारत के लिए JLR के सभी EV प्रोजेक्ट्स पर काम बंद कर दिया गया है। एक सप्लायर ने बताया कि यह निर्णय लगभग दो महीने पहले लिया गया था। इस फैसले का सीधा असर टाटा की नई प्रीमियम अविन्या (Avinya) इलेक्ट्रिक कार पर पड़ेगा, जिनकी लॉन्चिंग 2026-27 में होने वाली थी।

JLR की योजना क्यों रुकी?

मांग में गिरावट: ग्लोबल ऑटो सेक्टर में इलेक्ट्रिक कारों की मांग में उतनी तेजी नहीं दिख रही, जितनी उम्मीद की जा रही थी। इसके बजाय हाइब्रिड कारों की मांग बढ़ रही है।

EV कंपोनेंट्स की कीमतें ज्यादा: JLR को भारत में अपनी EVs के लिए सही दाम में अच्छे क्वॉलिटी वाले कंपोनेंट्स नहीं मिल रहे, जिससे प्रोजेक्ट की लागत ज्यादा हो रही है।

चाइनीज कंपनियों का दबदबा: चीन की EV कंपनियों की सस्ती और एडवांस कारें बाजार में धूम मचा रही हैं, जिससे ग्लोबल ब्रांड्स को अपनी रणनीति बदलनी पड़ रही है।

टाटा के अविन्या (Avinya) EV पर असर

JLR का EV प्रोजेक्ट टाटा की अविन्या (Avinya) सीरीज पर भी असर डालेगा। अविन्या (Avinya) EVs को JLR के EV प्लेटफॉर्म पर ही तैयार किया जाना था और कई कंपोनेंट्स भी दोनों कंपनियों के बीच शेयर किए जाने थे। अब JLR के इस फैसले से टाटा को अपने अविन्या (Avinya) मॉडल्स की डिजाइन और उत्पादन रणनीति फिर से बनानी होगी।

टेस्ला, महिंद्रा और MG के साथ मुकाबला होगा कठिन

टाटा मोटर्स भारत में इलेक्ट्रिक वाहनों की सबसे बड़ी कंपनी है, लेकिन उसे अब JSW MG मोटर, महिंद्रा एंड महिंद्रा और टेस्ला से कड़ी टक्कर मिल रही है। महिंद्रा और MG ने नई और लंबी रेंज वाली EVs लॉन्च की हैं, जो ग्राहकों को ज्यादा पसंद आ रही हैं। टेस्ला भी भारत में अपनी EVs लॉन्च करने की तैयारी कर रही है, जिससे बाजार में प्रतिस्पर्धा और बढ़ेगी।

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क्या टाटा के EV प्लान्स पर पड़ेगा असर?

टाटा ने अपने बयान में कहा है कि नए प्लांट में उत्पादन का टाइमलाइन और मॉडल्स का चयन कंपनी की मार्केट रणनीति और मांग के आधार पर तय किया जाएगा। हालांकि, इस फैसले से टाटा के EV मार्केट शेयर और ग्रोथ प्लान पर असर पड़ सकता है। अब देखना यह होगा कि टाटा मोटर्स इस चुनौती से कैसे निपटता है और अपने इलेक्ट्रिक वाहन पोर्टफोलियो को कैसे आगे बढ़ाता है।

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