Thalassemia Patients Face Blood Shortage in District Urgent Need for Donors बोकारो के थैलेसीमिया मरीजों को खून की होनी लगी है किल्लत, Bokaro Hindi News - Hindustan
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बोकारो के थैलेसीमिया मरीजों को खून की होनी लगी है किल्लत

बोकारो के थैलेसीमिया मरीजों को खून की होनी लगी है किल्लतबोकारो के थैलेसीमिया मरीजों को खून की होनी लगी है किल्लतबोकारो के थैलेसीमिया मरीजों को खून की

Newswrap हिन्दुस्तान, बोकारोSat, 17 May 2025 04:51 AM
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बोकारो के थैलेसीमिया मरीजों को खून की होनी लगी है किल्लत

कारो, प्रतिनिधि। जिले के थैलेसीमिया मरीजों को खून के लिए बड़ी दिक्कत हो रही है। ब्लड के लिए उन्हें इंडियन रेडक्रॉस सोसाईटी, ब्लड बैंक तो कभी सदर अस्पताल का चक्कर लगाना पड़ रहा है। हाल के महीनों में ऐसी दिक्कतें हो रही है। समय से ब्लड उपलब्ध नहीं होने से मरीजों के परिजनों ने इंडियन रेडक्रॉस सोसाईटी, ब्लड बैंक के इंचार्ज को लिखित आवेदन दिया है। इनका कहना है कि थैलेसीमिया मरीजों के लिए खून की बड़ी दिक्कत हो रही है, कारण जो भी हो। दस साल तक कोई कष्ट नहीं हुआ। कभी कभार स्टॉक में नहीं होने पर एक-दो दिन इंतजार करना पड़ता था।

पेपर दिखाने पर थैलेसीमिया मरीजों को तुरंत ब्लड उपलब्ध करा दिया जाता था। अभी स्थिति यह है कि ब्लड मांगने पर कहा जाता है कि डोनर ले आए, यहां उपलब्ध नहीं है, तरह-तरह की बहानेबाजी कर टरका दिया जाता है। बताया जाता है कि जिले में 140 से अधिक इस तरह के मरीज हैं। 25-30 मरीज ऐसे हैं, जिनके माता-पिता नहीं है, वे दादा-दादी या नाना-नानी के साथ रहते हैं। दूर-दराज के प्रखंड़ों से आए मरीजों को समय से ब्लड नहीं मिलने से बड़ी दिक्कत हो जाती है। अलग-अलग कटेरी के मरीज थैलेसीमिया के अलग-अलग कैटेगरी के मरीज हैं। कुछ मरीज ऐसे हैं जिन्हें महीने में चार बार, तो किसी को तीन बार किसी को दो बार ब्लड चढ़ाना होता है। हमलोग डोनर लाते हैं या खुद भी ब्लड देते हैं। इंडियन रेडक्रॉस सोसाईट व सदर अस्पताल से हमेशा मुफ्त में खून मिलता आ रहा है। कई मरीजों के परिजनों का कहना है कि दस साल में कभी दिक्कत नहीं हुई। गर्मी में दो-महीने दिक्कत होती है। डुमरी के ताजुद्दीन अंसारी ने बताया कि मेरी साढ़े छह साल की बैटी है। महीने में दो बार ब्लड चढ़ता है। नई कमेटी बनने के बाद दिक्कत हो रही है। कोविड महामारी में भी इतनी दिक्कत नहीं हुई थी। चंदनकियारी के मरीज के परिजन ने बताया कि 10 साल से कभी ब्लड की दिक्कत नहीं हुई, अभी कुछ महीनों से दिक्कत हो रही है। मेरी एक और बेटी इस बीमारी से पीड़ित थी, जिसकी मौत 2020 में हो गयी, यह दूसरी बेटी है।

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