बोले जमशेदपुर : मैदान की बाउंड्री से ढंक जा रहे घर, बिजली के जर्जर खंभों से हादसे का डर
जेम्को के आजाद बस्ती में 20 हजार की आबादी बुनियादी सुविधाओं की कमी से जूझ रही है। अधूरी सड़कें, बिना स्ट्रीट लाइट, और जर्जर बिजली के खंभे लोगों की सुरक्षा को खतरे में डाल रहे हैं। स्थानीय निवासियों ने...

टेल्को के जेम्को स्थित आजाद बस्ती में करीब 20 हजार की आबादी निवास करती है। यहां बुनियादी सुविधाएं तो हैं, लेकिन स्थानीय लोगों को कई अन्य समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है। सबसे बड़ी समस्या अधूरी सड़क है। सड़क को आधा बनाकर छोड़ दिया गया है। इससे जहां सड़क पर लगातार धूल उड़ती है, वहीं दुर्घटनाओं का खतरा भी बना रहता है। इसके अलावा क्षेत्र में स्ट्रीट लाइट नहीं होने से रात के समय लोगों को परेशानी होती है। अंधेरे में राहगीरों और स्थानीय महिलाओं को असुरक्षा का भी डर रहता है। यहां के लोगों ने अपनी समस्याएं हिन्दुस्तान को बताईं और जल्द समाधान की मांग की। जेम्को इलाका कभी शांत और बसा-बसाया क्षेत्र हुआ करता था। यहां लोग कंपनियों की स्थापना से पहले से ही रह रहे हैं। लेकिन जब से इस इलाके में कई छोटी-बड़ी कंपनियां बनी हैं, तब से यहां की आबादी और समस्याएं दोनों बढ़ती जा रही हैं। आज जेम्को में करीब दो लाख से ज्यादा लोग रहते हैं, जिनमें से लगभग 20 हजार लोग आजाद बस्ती में बसे हैं। हाल के दिनों में बस्ती के लोगों की सबसे बड़ी परेशानी जेम्को मैदान को लेकर है। लोगों का कहना है कि कंपनी ने पहले इस जमीन पर बने पुराने क्वार्टरों को तोड़कर वहां बड़ा मैदान बना दिया। अब इस मैदान की चारों ओर दीवार बनाई जा रही है। कंपनी की ओर से बाउंड्री के बाहर एक सड़क भी बनाई जा रही है, ताकि आने-जाने में कोई दिक्कत न हो। लेकिन वह सड़क अधूरी है। लोगों का कहना है कि अगर एक तरफ बाउंड्री बन रही है तो वह समझ में आती है, लेकिन दूसरी ओर दीवार बनने से उनके घरों का पिछला हिस्सा पूरी तरह बंद हो जाएगा, जिससे कई तरह की समस्याएं होंगी। इस मुद्दे को लेकर लोगों ने कई बार विधायक और उपायुक्त को पत्र लिखा है, लेकिन अबतक कोई कार्रवाई नहीं हुई है। लोग चाहते हैं कि बाउंड्री वॉल के बजाय वहां नाली का निर्माण कराया जाए, ताकि पानी निकासी की समस्या दूर हो। इसके अलावा यहां बिजली की स्थिति भी बहुत खराब है। काफी पुराने खंभे अबतक खड़े हैं, जिनसे किसी भी समय बड़ी दुर्घटना हो सकती है। इन खंभों पर बिजली के तारों का जाल बना हुआ है और कई घरों के ऊपर से हाइटेंशन तार गुजर रहे हैं। पोल भी जर्जर हो चुके हैं। लोगों ने बिजली विभाग से कई बार शिकायत की, लेकिन अबतक कोई कदम नहीं उठाया गया है।
सड़क किनारे नालियां बनीं पर अधूरी
स्थानीय लोगों ने बताया कि एक ओर सड़क के किनारे नालियां बनी हैं, पर वह भी अधूरी हैं। उन्हें ढंककर भी नहीं रखा गया और न ही उन्हें घेरा गया है। रात को बस्ती में अंधेरा हो जाता है, जिससे नाली में गिरकर घायल होने का खतरा हर समय बना रहता है। दूसरी ओर, एक सड़क पेवर्स ब्लॉक बिछाकर बनाई गई है। सड़क बनने के बाद बड़ी गाड़ी गली में घुसी, जिससे सड़क का कुछ हिस्सा नाली में समा गया। तब से यह सड़क उसी स्थिति में है। नाली जाम होने से नाली का पानी भी सड़क पर बहने लगता है, जिससे लोग नाली के पानी से होकर ही आना-जाना करते हैं। वहीं एक ओर सीवरेज का काम अधूरा रहने से गंदा पानी भी गलियों में बहता रहता है।
स्ट्रीट लाइट नहीं है, बदमाशों का लगता है जमावड़ा
स्थानीय लोगों ने बताया कि सड़कों पर बिजली के खंभे तो हैं, पर उनमें स्ट्रीट लाइटें नहीं लगी है। ऐसे में रात होने पर सड़क पर अंधेरा छा जाता है। वहीं, इसी अंधेरे का फायदा असामाजिक तत्व उठाते हैं और वे मैदान में अड्डेबाजी करते हैं। इससे सड़क से होकर गुजरने वाले लोगों और महिलाओं को डरकर सड़क से गुजरना पड़ता है। नशेड़ी बस्ती में चोरी भी करते हैं। चोर घर के बाहर लगे बल्ब तक चुरा लेते हैं। कई बार तो खिड़की तक उखाड़ने का प्रयास कर चुके हैं, लेकिन इस ओर ध्यान नहीं दिया जा रहा है। ऐसे में यहां के लोगों को अब सुरक्षा को लेकर भी डर सताने लगा है।
रोड पर बड़े वाहनों के कारण दुर्घटना का डर
जेम्को मेन रोड पर ही बड़े वाहन खड़े रहते हैं, जिससे यहां रहने वाले लोगों की परेशानी होती है। उनका कहना है कि बड़े वाहनों के रोड के किनारे खड़ी रहने के कारण हमेशा दुर्घटना की आशंका रहती है। इसको लेकर कई बार लोग मांग भी उठा चुके हैं, लेकिन इस समस्या के समाधान की दिशा में कभी कोई ठोस पहल नहीं हो सकी।
जेम्को चौक पर भरा रहता है पानी
जेम्को चौक के पास रोड पर हर वक्त पानी जमा रहता है। बारिश के समय तो स्थिति और भी दूभर हो जाती है। ऐसे में लोगों को वहां से आने-जाने में भी काफी समस्या का सामना करना पड़ता है। लोगों का कहना है कि जनप्रतिनिधियों द्वारा इस ओर ध्यान नहीं देने के कारण क्षेत्र की छोटी समस्या भी विकराल रूप धारण करती जा रही है।
समस्याएं
1. सड़क का निर्माण अधूरा छोड़ दिया गया है, जिससे धूल उड़ती है और दुर्घटना का खतरा बना रहता है।
2. सड़क किनारे बनाई गई नालियां अधूरी हैं, न तो उन्हें ढंका गया है और न ही चारों ओर से घेरा गया है।
3. इलाके में पुराने और कमजोर खंभे हैं, जिनपर बिजली तारों का उलझा हुआ जाल बना है। हाइटेंशन तार घरों के ऊपर से गुजरते हैं।
4. इलाके में खंभे तो हैं, लेकिन उनमें स्ट्रीट लाइट नहीं लगी है, जिससे रात के समय अंधेरा छा जाता है।
5. अधूरा सीवरेज सिस्टम और जाम नालियों की वजह से गंदा पानी गलियों में बहता है। इससे बदबू और संक्रमण का खतरा रहता है।
सुझाव
1. सड़क को पूरी तरह बनवाया जाए और पक्की सतह से मजबूत किया जाए, ताकि भारी वाहनों के दबाव से धंसे नहीं।
2. नालियों को ढंककर सुरक्षित बनाया जाए। मैदान में दीवार खड़ी न की जाए।
3. पुराने खंभों को बदला जाए, तारों को व्यवस्थित किया जाए और हाइटेंशन तारों को घरों से दूर ले जाने की व्यवस्था हो।
4. पूरे क्षेत्र में एलईडी स्ट्रीट लाइट लगाकर नियमित रूप से मेंटेनेंस सुनिश्चित किया जाए।
5. सफाईकर्मियों की तैनाती हो और नाली-सीवरेज की समय-समय पर सफाई सुनिश्चित की जाए, साथ ही सीवरेज कार्य पूरा कराया जाए।
सड़क के दोनों ओर बाउंड्री बनाई जा रही है। इससे हमें परेशानी का सामना करना पड़ेगा।
- रासमनी देवी
रात में अंधेरा इतना हो जाता है कि डर लगता है। स्ट्रीट लाइट अगर लग जाए तो बहुत राहत मिलेगी।
- सुनीता देवा
मैदान के दूसरी ओर दीवार बनने से हमारा पिछला रास्ता बंद हो जाएगा। ऐसे में घर के पीछे से बाहर निकलना मुश्किल होगा।
- रीना अग्रवाल
नाली जाम रहती है। बरसात में नालियों का पानी सड़कों पर बहता है। इससे घर से बाहर निकलना मुश्किल हो जाता है।
-ऋतु शर्मा
बिजली के खंभे बहुत पुराने हो चुके हैं। पोल में तार का जंजाल हो गया है। यह बड़ी दुर्घटना को दावत दे रहा है।
- जसपाल सिंह
मैदान में नशेड़ियों का जमावड़ा लगने लगा है। इससे महिलाओं का रात में बाहर निकलना मुश्किल हो गया है।
-अमित कुमार अग्रवाल
स्ट्रीट लाइट नहीं होने से चोरी की घटनाएं बढ़ी हैं। कई घरों के बाहर बल्ब की चोरी अब आम बात हो गई है।
- राज किशोर प्रसाद
सीवरेज सिस्टम अधूरा पड़ा है। गलियों में बदबूदार पानी बहता रहता है। गलियों में लोग इसी पानी से होकर घर जाते हैं।
-बरिया मुखी
घरों के ऊपर से हाइटेंशन तार गुजरा है। पोल भी काफी पुराना है। डर लगता है कि गिर न जाए।
- रामचंद्र प्रसाद
मैदान का घेराव ठीक है, लेकिन दोनों तरफ दीवार बनने से लोगों की आवाजाही बंद हो जाएगी।
- बंदना देवी
दोनों ओर बाउंड्री बनने से बीच में रास्ता तो बन जाएगा पर घरों के पीछे के दरवाजे बंद हो जाएंगे।
- मंजू देवी
ब्राउंड्री वाल की जगह फुटपाथ का निर्माण करा दिया जाए या फिर सड़क के किनारे पेड़ लगा दिए जाएं।
- करनदीप सिंह सैनी
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