नूंह के मेडिकल कॉलेज में बनेगा 100 बेड का जच्चा-बच्चा अस्पताल, 15 लाख लोगों को मिलेगा लाभ
हरियाणा के नूंह में नल्हड़ स्थित हसन खान मेवाती सरकारी मेडिकल कॉलेज में 100 बेड का अत्याधुनिक जच्चा-बच्चा अस्पताल बनाया जाएगा। अस्पताल के निर्माण की जिम्मेदारी लोक निर्माण विभाग को सौंपी गई है। विभाग ने इसके लिए टेंडर प्रक्रिया शुरू कर दी है, जो 25 मार्च को खुलेगा।

हरियाणा के नूंह में नल्हड़ स्थित शहीद हसन खान मेवाती सरकारी मेडिकल कॉलेज (एसएचकेएम जीएमसी) में 100 बेड का अत्याधुनिक जच्चा-बच्चा अस्पताल बनाया जाएगा। अस्पताल के निर्माण की जिम्मेदारी लोक निर्माण विभाग को सौंपी गई है। विभाग ने इसके लिए टेंडर प्रक्रिया शुरू कर दी है, जो 25 मार्च को खुलेगा।
यदि सब कुछ योजना के अनुसार हुआ तो अप्रैल में निर्माण कार्य शुरू कर दिया जाएगा। इससे जिले के करीब 15 लाख लोगों को लाभ मिलने की उम्मीद है। योजना पर 33 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। इसके बाद नूंह और आसपास के क्षेत्रों की गर्भवती महिलाओं और नवजात शिशुओं को दिल्ली या अन्य बड़े शहरों रेफर नहीं किया जाएगा। उन्हें एक ही स्थान पर बेहतरीन चिकित्सा सुविधाएं मिल सकेंगी।
नूंह जिले सरकारी मेडिकल कॉलेज होने के बावजूद स्वास्थ्य सुविधाओं का काफी अभाव है। खासकर जच्चा-बच्चा के उच्च स्तर इलाज की काफी कमी है। स्वास्थ्य सुविधाओं की कमी के कारण कई मामलों में जच्चा-बच्चा मामलों को दिल्ली, गुरुग्राम या फरीदाबाद रेफर करना पड़ता है। इससे मरीजों और उनके परिवारों को आर्थिक व मानसिक रूप से काफी परेशानी उठानी पड़ती है। समय पर उचित इलाज न मिनले पर कई बार मरीज की जान भी चली जाती है। नया अस्पताल बनने के बाद प्रसव, नवजात शिशु देखभाल, टीकाकरण, इमरजेंसी सुविधाएं और ऑपरेशन जैसी सेवाएं स्थानीय स्तर पर मजबूत होंगी।
उच्च स्तरीय चिकित्सा सुविधाएं होंगी उपलब्ध
नए बनाए जाने वाले जच्चा-बच्चा अस्पताल में सभी आधुनिक सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएंगी, जिससे न केवल सामान्य प्रसव बल्कि जटिल मामलों में भी मरीजों को बेहतर इलाज दिया जा सकेगा। अस्पताल में विशेषज्ञ डॉक्टर, प्रशिक्षित नर्सिंग स्टाफ और नवजात देखभाल यूनिट (एनआईसीयू) की व्यवस्था होगी, जिससे समय पूर्व जन्मे या गंभीर रूप से बीमार नवजातों को उचित इलाज मिल सके।
सज्जन कुमार यादव, कार्यकारी अभियंता, पीडब्ल्यूडी, नूंह ने कहा, ''मेडिकल कॉलेज परिसर में 100 बेड का जच्चा-बच्चा अस्पताल बनाने के लिए टेंडर कर दिया गया है। अस्पताल में क्षेत्र की महिलाओं और नवजात शिशुओं को घर के पास ही उत्तम चिकित्सा सुविधाएं मिलेंगी। वर्ष 2026 तक यह अस्पताल जनता को समर्पित कर दिया जाएगा।''