मिड-डे मील वर्करों ने उठाई भेदभाव और शोषण के खिलाफ आवाज
फरीदाबाद में मिड डे मील वर्कर यूनियन की बैठक हुई, जिसमें वर्करों ने 20 मई को होने वाली राष्ट्रव्यापी हड़ताल की तैयारी की। उन्होंने विद्यालयों में भेदभाव का आरोप लगाया और सरकार से वेतन, नौकरी और अन्य...

फरीदाबाद। शनिवार को मिड डे मील वर्कर यूनियन जिला कमेटी फरीदाबाद की बैठक सेक्टर 12 स्थित पार्क में आयोजित की गई। बैठक की अध्यक्षता यूनियन की जिला प्रधान कमलेश ने की, जबकि सभा को सीटू के जिला सचिव वीरेंद्र सिंह डंगवाल ने संबोधित किया। बैठक में मिड डे मील वर्करों ने 20 मई को होने वाली राष्ट्रव्यापी हड़ताल को सफल बनाने का संकल्प लिया और आगामी 23 मई से सूरजकुंड में आयोजित सीटू की राष्ट्रीय जनरल काउंसिल की बैठक में सक्रिय भागीदारी का आश्वासन दिया। बैठक में वर्करों ने बताया कि विद्यालयों में मिड डे मील वर्करों के साथ लगातार भेदभाव किया जा रहा है।
उन्हें उनके मूल कार्य—मध्याह्न भोजन बनाने—के अलावा सफाई, पोंछा लगाने, पेड़-पौधों को पानी देने जैसे काम करने के लिए मजबूर किया जाता है। यूनियन ने इसे प्रशासनिक तानाशाही करार देते हुए इसके खिलाफ संघर्ष का निर्णय लिया है। यूनियन की ओर से सीटू जिला कमेटी इन अधिकारियों से शीघ्र बातचीत करेगी। वर्करों ने सरकार से मांग की कि उन्हें पूरे साल यानी 12 महीने वेतन दिया जाए, हर माह की 7 तारीख तक वेतन का भुगतान सुनिश्चित किया जाए, न्यूनतम वेतन को बढ़ाकर 26,000 रुपये किया जाए और जब तक उन्हें पक्की नौकरी नहीं दी जाती, तब तक उन्हें ईएसआई, पीएफ, पेंशन और ग्रेच्युटी की सुविधाएं प्रदान की जाएं। बैठक में सीटू के जिला प्रधान निरंतर पराशर, सचिव गीता, कौशल्या और कई अन्य पदाधिकारी विशेष रूप से उपस्थित रहे। सभी ने एकजुट होकर अपने अधिकारों की लड़ाई को मजबूती से आगे बढ़ाने का आह्वान किया।
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