Top 12 Indian Mutual Fund Companies Overlooking Climate Risks Study Reveals जलवायु जोखिमों की अनदेखी कर रही शीर्ष म्यूचुअल फंड कंपनियां, Delhi Hindi News - Hindustan
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जलवायु जोखिमों की अनदेखी कर रही शीर्ष म्यूचुअल फंड कंपनियां

भारत में 5.33 खरब डॉलर के म्यूचुअल फंड का प्रबंधन करने वाली 12 शीर्ष कंपनियों ने जलवायु जोखिमों की अनदेखी की है। रिपोर्ट में कहा गया है कि ये कंपनियां कोयले में निवेश नहीं करने की नीति नहीं अपनाती हैं...

Newswrap हिन्दुस्तान, नई दिल्लीThu, 27 March 2025 06:33 PM
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जलवायु जोखिमों की अनदेखी कर रही शीर्ष म्यूचुअल फंड कंपनियां

नई दिल्ली, विशेष संवाददाता। भारत में 5.33 खरब डॉलर के म्यूचुअल फंड का प्रबंधन करने वाली 12 शीर्ष कंपनियां जलवायु जोखिमों की अनदेखी कर रही हैं। क्लाईमेट रिस्क होराइजंस के अध्ययन में यह बात सामने आई है। रिपोर्ट के अनुसार इन शीर्ष एसेट मैनेजमेंट कंपनियों ने अपने पोर्टफोलियो में जलवायु संबंधी जोखिमों को संबोधित नहीं किया है। ज्यादातर एएमसी के पास कोयले में निवेश नहीं करने की नीति का अभाव है। वे अपने वित्त पोषण की वजह से हुए प्रदूषणकारी तत्‍वों के उत्‍सर्जन का खुलासा भी नहीं कर रही हैं। उन्‍होंने अभी तक क्‍लाइमेट स्ट्रेस टेस्‍ट भी नहीं कराया हैं। इससे निवेशकों के लिए जोखिम उत्‍पन्‍न हो रहा है।

इन कंपनियों ने वित्तीय वर्ष 2023-24 में कुल मिलाकर 5.33 खरब डॉलर के म्यूचुअल फंड्स का प्रबंधन किया था। भारत के लिए अपने जलवायु लक्ष्यों को हासिल करने के लिए यह जरूरी है कि म्यूचुअल फंड अपने यहां निवेशित राशि का समझदारी से आगे निवेश करें ताकि उनका पोर्टफोलियो नेट जीरो भविष्य के अनुरूप बने। ऐसे में म्यूचुअल फंड कंपनियों के पोर्टफोलियो के प्रबंधन का दायित्व संभाल रही एएमसी कंपनियों की जिम्मेदारी बनती है कि वे पूंजी का रुख नेट जीरो भविष्यवाणी परियोजनाओं की तरफ मोड़ें।

अध्ययन में एएमसी को 10 कसौटियों पर कसा गया है। इनमें रिस्पांसिबल इन्वेस्टमेंट, बोर्ड ओवर साइट, कोल पॉलिसी, ईएसजी इंटीग्रेशन, स्टीवार्डशिप और नेट जीरो टारगेट्स शामिल हैं।

रिपोर्ट के अनुसार कोटक महिंद्रा एसेट मैनेजमेंट कंपनी एकमात्र ऐसी कंपनी है जिसने कोयले को अपनी ईएसजी योजना से बाहर रखा है। सिर्फ निप्पॉन लाइफ इंडिया एएमसी ने कम उत्सर्जन वाले पोर्टफोलियो में रूपांतरण का लक्ष्य अपनाया है। किसी भी एएमसी ने अपने पोर्टफोलियो का जलवायु-संबंधी परिदृश्य विश्लेषण या स्‍ट्रेस परीक्षण नहीं किया है। अध्‍ययन के दायरे में ली गईं 12 एएमसी में से ज्यादातर ने यूनाइटेड नेशंस प्रिंसिपल्स फॉर रिस्पांसिबल इन्वेस्टमेंट (यूएन पीआरआई) पर दस्‍तखत किए हैं। इन शुरुआती कदमों के बावजूद ज्यादातर एएमसी सिर्फ उन पैमानों पर काम करती हैं, जिन्हें सेबी ने अनिवार्य किया है।

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