अखिलेश यादव की जान को खतरा! सपा ने अमित शाह को पत्र लिख एनएसजी की सुरक्षा मांगी
करणी सेना और समाजवादी पार्टी की रार के बीच अखिलेश यादव की सुरक्षा को लेकर सपा की तरफ से चिंता जताई गई है। सपा ने अखिलेश यादव को एनएसजी सुरक्षा देने की गृहमंत्री अमित शाह से मांग करते हुए पत्र लिखा है।

समाजवादी पार्टी ने अपने अध्यक्ष अखिलेश यादव के लिए एनएसजी की सुरक्षा दोबारा बहाल करने की मांग की है। इसे लेकर सपा की ओर से गृहमंत्री अमित शाह को पत्र लिखा गया है। पत्र में अखिलेश यादव की जान को खतरा बताते हुए कहा गया है कि लगातार उन्हें धमकियां दी जा रही हैं। अखिलेश पर हमले की चेतावनी वाले कई वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे हैं। अखिलेश यादव को फिलहाल जेड प्लस सुरक्षा मिली हुई है। हालांकि पहले भी जेड प्लस के साथ एनएसजी की सुरक्षा अखिलेश यादव के पास थी। गृह मंत्रालय की समीक्षा के बाद एनएसजी की सुरक्षा हटा ली गई थी।
समाजवादी पार्टी की तरफ से प्रवक्ता फखरुल ने गृहमंत्री अमित शाह को भेज पत्र में लिखा है कि पूर्व मुख्यमंत्री और पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव को पहले जेड प्लस के साथ ही एनएसजी कवर की सुरक्षा मिली हुई थी। बाद में एनएसजी कवर हटा दिया गया था। समाजवादी पार्टी देश की तीसरी सबसे बड़ी पार्टी है और अखिलेश यादव को देश के विभिन्न हिस्सों में कार्यक्रमों में जाना पड़ता है।
पत्र में बिना किसी व्यक्ति का नाम लिखते हुए आगे लिखा गया है कि जिस तरह से एक व्यक्ति के द्वारा न्यूज चैनलों पर कैमरे के सामने खुलेआम अखिलेश यादव को मारने की धमकी दी गयी है। एक बीजेपी नेता ने भी अखिलेश यादव को जान से मारने की धमकी दी है। इसका वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल है। यूपी सरकार की तरफ से इन व्यक्तियों पर किसी भी तरह की कोई भी कार्रवाई नही की गई है। ऐसे में अखिलेश यादव की सुरक्षा को लेकर पार्टी में चिन्ता है।
समाजवादी पार्टी का यह पत्र ऐसे समय में लिखा गया है जब राणा सांगा पर सपा सांसद रामजी लाल सुमन के बयान को लेकर करणी सेना और कई क्षत्रिय संगठन आक्रोशित हैं। पिछले दिनों रामजी लाल सुमन के गृह जिले आगरा में राणा सांगा की जयंती पर बड़ा आयोजन भी करणी सेना की तरफ से किया गया था। इस दौरान बड़ी संख्या में क्षत्रिय समाज के लोग तलवार, डंडों और बंदूकों के साथ जुटे थे। इस दौरान ही कई लोगों ने सुमन के साथ ही अखिलेश यादव को लेकर आपत्तिजनक नारेबाजी की और जान से मारने तक की धमकी दी थी।