बैंकों का लक्ष्य केवल मुनाफा कमाना, ऋण देने में दिखा कंजूसी
पहाड़ों में बैंक जमा में अग्रणी हैं, लेकिन ऋण वितरण में रुचि कम है। जिला स्तरीय पुनरीक्षण समिति की बैठक में, जिलाधिकारी संदीप तिवारी ने 40% से कम सीडी रेशियो वाले बैंकों को ऋण वितरण में तेजी लाने के...

पहाड़ों में बैंक धन संचयन में तो आगे हैं, लेकिन ऋण वितरण में उनकी रुचि कम नजर आ रही है। यह बात जिला स्तरीय पुनरीक्षण समिति की बैठक में सामने आई, जहां जिलाधिकारी संदीप तिवारी ने 40 प्रतिशत से कम सीडी रेशियो (जमा-ऋण अनुपात) वाले बैंकों को ऋण वितरण में तेजी लाने के सख्त निर्देश दिए। गुरुवार को क्लक्ट्रेट सभागार में आयोजित इस बैठक में बैंकिंग नेटवर्क, वार्षिक ऋण-जन जमा उपलब्धि, और राज्य व केंद्र सरकार की प्रमुख योजनाओं जैसे मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना, प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम, राष्ट्रीय आजीविका मिशन (ग्रामीण व शहरी), वीर चन्द्र सिंह गढ़वाली वाहन एवं गैर वाहन मद, होम स्टे आदि की समीक्षा की गई।
जिलाधिकारी संदीप तिवारी ने कहा कि जिन बैंकों का सीडी रेशियो 40 प्रतिशत से कम है, वे ऋण वितरण के क्षेत्र में अपनी भूमिका मजबूत करें। उन्होंने निर्देश दिए कि बैंक ऋण आवेदनों को सिबिल स्कोर के आधार पर ही विभागों द्वारा बैंक तक भेजा जाए ताकि असमर्थ आवेदनों की संख्या कम हो। साथ ही, सभी संबंधित विभाग बैंक के साथ समन्वय बनाकर ऋण आवेदन प्रक्रिया के लिए एक निर्धारित समय सीमा तय करें ताकि दूर-दराज के क्षेत्रों के लोगों का समय बर्बाद न हो। बैंकों द्वारा रिजेक्ट किए गए आवेदनों की जांच एवं समाधान के लिए संबंधित विभागों को भी सक्रिय भूमिका निभाने के निर्देश दिए गए। जिला पर्यटन अधिकारी को भी रिजेक्ट आवेदनों पर फॉलोअप करने की जिम्मेदारी सौंपी गई। इसके साथ ही सभी बैंकों को वित्तीय साक्षरता बढ़ाने के लिए नियमित कैम्प लगाने के आदेश दिए गए।
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