प्रशिक्षण कार्यक्रम से आत्मनिर्भर बनेंगे युवा: प्रो राणा
प्रशिक्षण कार्यक्रम युवाओं को नई तकनीकों से जोड़ने और आत्मनिर्भर बनाने में सहायक साबित होंगे। मशरूम की कीमत 50 से 100 रुपये प्रति किलो है, जबकि कुछ मशरूम हजारों में बिकती हैं। उत्तराखंड लोक सेवा आयोग...

प्रशिक्षण कार्यक्रम युवाओं को नई तकनीकों से जोड़ने और उन्हें आत्मनिर्भर बनाने में सहायक सिद्ध होंगे। उन्होंने कहा कि बाजार में मशरूम 50 से 100 रुपये प्रति किलो मिलती है। कुछ मशरूम हजारों से लाखों रुपये प्रति किलो में बिकती हैं। यह बात यूसर्क की ओर से सीआईएमएस देहरादून में स्थापित किए गए यूसर्क एग्रो इकोलॉजी एंटरप्रेन्योरशिप डेवलपमेंट सेन्टर में प्लांट टिश्यू कल्चर, मशरूम स्पॉन प्रोडक्शन, वर्मी कंपोस्ट विषय पर आयोजित प्रशिक्षण कार्यक्रम के समापन पर मुख्यअतिथि उत्तराखंड लोक सेवा आयोग के पूर्व अध्यक्ष प्रो जेएमएस राणा ने ने कही। उन्होंने यूसर्क के प्रयासों की सराहना की। यूसर्क की निदेशक प्रो अनीता रावत ने कहा कि यह प्रशिक्षण छात्रों की सफलता और उज्ज्वल भविष्य के नए मार्ग प्रशस्त करेगा।
सीआईएमएस एंड यूआईएचएमटी ग्रुप ऑफ कॉलेज के चेयरमैन एडवोकेट ललित मोहन जोशी ने ने कहा कि यह प्रशिक्षण कार्यक्रम प्रदेश में जैव प्रौद्योगिकी, सतत कृषि व उद्यमिता को प्रोत्साहित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा। इस दौरान एफआरआई देहरादून की वैज्ञानिक डॉ मोनिका चौहान, वैज्ञानिक प्रशांत कुमार चौधरी, गौरव सुयाल, सीआईएमएस कॉलेज ऑफ पैरामेडिकल के प्रधानाचार्य डॉ केएस नेगी, यूसर्क एग्रो इकोलॉजी इंटरप्रैन्योरशिप डेवलपमेंट सेन्टर सीआईएमएस एंड आर देहरादून के केन्द्र समन्वयक डॉ रंजीत कुमार सिंह, सह सहमन्वयक डॉ दीपिका विश्वास, कमल जोशी आदि मौजूद रहे।
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