Indian Red Cross Society in Bhagalpur Faces Challenges Due to Low Membership and Administrative Issues बोले भागलपुर: सेवा के लिए आमलोगों और प्रशासन का सहयोग जरूरी, Bhagalpur Hindi News - Hindustan
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बोले भागलपुर: सेवा के लिए आमलोगों और प्रशासन का सहयोग जरूरी

भागलपुर की इंडियन रेडक्रॉस सोसायटी सेवा कार्य करने में समस्याओं का सामना कर रही है। इसकी मुख्य वजह सदस्यों की कमी और प्रशासनिक उदासीनता है। हालांकि, नई कमेटी के गठन के बाद सेवा कार्यों को आगे बढ़ाने...

Newswrap हिन्दुस्तान, भागलपुरThu, 24 April 2025 08:59 PM
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बोले भागलपुर: सेवा के लिए आमलोगों और प्रशासन का सहयोग जरूरी

आपदा और आपात स्थिति में सेवा और सहयोग के लिए हमेशा तत्पर रहने वाली संस्था रेडक्रॉस सोसायटी, भागलपुर इन दिनों अपनी पहचान के अनुरूप सेवा कार्य नहीं कर पा रही है। इसके पीछे कई कारण हैं, जिनमें सबसे महत्वपूर्ण कारण सदस्यों की काफी कम संख्या का होना बताया जा रहा है। मुख्य रूप से मानवता और सेवा कार्य के लिए समर्पित रेडक्रॉस सोसायटी सदस्यों के सहयोग से चलने वाली संस्था है, जिसके पास आय या लाभ से जुड़ा कोई स्रोत नहीं है। इस कारण भी संस्था के लोगों को सेवा करने में परेशानी होती है। इंडियन रेडक्रॉस सोसायटी की स्थापना 1863 ई. में स्विट्जरलैंड में हुई थी, जिसके पीछे का कारण भी सेवा और समर्पण की भवना ही थी। समय के साथ इस संस्था का विस्तार होता गया और सेवा के क्षेत्र में रेडक्रॉस सोसायटी की पहचान पूरी दुनिया में फैलती गयी। युद्ध की स्थिति में भी घायल होने वाले सैनिकों या नागरिकों की सेवा और सुरक्षा के लिए कार्य करना, अभावग्रस्त इलाकों में जरूरतमंदों को सुविधा मुहैया कराना भी इस संस्था की प्राथमिकता में है। भागलपुर में बीते कुछ वर्षों से अर्थाभाव, प्रशासनिक उदासीनता और कुछ अपनी कमजोरियों के कारण इस संस्था की गति थोड़ी मंद जरूर पड़ी, लेकिन वर्ष 2023 में संपन्न हुए सोसायटी के चुनाव के बाद से नई कमेटी फिर से सशक्त बनाकर सेवा कार्यों को आगे बढ़ाने की तैयारी में है।

इसको लेकर इंडियन रेडक्रॉस सोसायटी, भागलपुर के चेयरमैन अशोक जीवराजिका ने बताया कि अंतर्राष्ट्रीय रेडक्रॉस सोसायटी का मुख्य स्लोगन युद्ध में दान और मानवता के माध्यम से शांति के लिए यथासंभव प्रयत्न करना है। मानवता, निष्पक्षता, तटस्थता, स्वतंत्रता, सेवा, एकता और सार्वभौमिकता इसका मौलिक सिद्धांत है। रेडक्रॉस सोसायटी एक ऐसा अंतर्राष्ट्रीय संगठन है जो भूख, बीमारी, आपदा समेत कई समस्याओं के लिए कार्य करती है। उन्होंने बताया कि 1859 में स्विट्जरलैंड के जेनेवा शहर के एक व्यवसायी हैनरी ने उत्तरी इटली क्षेत्र में हो रहे युद्ध का दृश्य देखकर घायल सैनिकों को पीड़ा की स्थिति में देखा, जिसे देखकर उन्हें काफी दुख हुआ। इसके बाद उन्होंने अपने देश स्विट्जरलैंड लौटने के बाद युद्धग्रस्त सैनिकों की मदद के लिए 1863 ई में अंतर्राष्ट्रीय रेड क्रॉस सोसायटी की स्थापना की। हालांकि भारत में इंडियन रेड क्रॉस सोसायटी की स्थापना वर्ष 1920 में हुई थी। वहीं 1901 ई में पहली बार जब ब्लड ग्रुप की जानकारी सामने आई तो संस्था के द्वारा रक्तदान को अपने मुख्य उद्देश्यों में शामिल किया। उन्होंने बताया कि संस्था को अगर प्रशासन की ओर से ब्लड बैंक, एक्सरे और दिव्यांगता के उपकरणों को उपलब्ध कराया जाय तो इसका लाभ मेगा कैंप के माध्यम से गरीबों के साथ आपदा की स्थिति में जरूरतमंदों को मिलेगा। इधर, इंडियन रेड क्रॉस सोसायटी, भागलपुर के सचिव प्रवीण कुमार झा ने बताया कि वर्ष 2002 में भागलपुर के सैंडिस कंपाउण्ड परिसर में तत्कालीन जिलाधिकारी गोरेलाल यादव ने रेडक्रॉस सोसायटी के अपने भवन का निर्माण कर उसका उद्घाटन किया। अभी सबसे बड़ी समस्या रेडक्रॉस सोसायटी का कुछ संस्थाओं द्वारा अतिक्रमण कर लेना है। वहीं सीए प्रदीप झुनझुनवाला ने बताया कि रेडक्रॉस सोसायटी जनता की सेवा के लिए हमेशा तत्पर रहती है। सरकार अगर इस संस्था के उद्देश्यों को पूरा करने में सहयोगी भूमिका निभाए, तो इसका लाभ ना सिर्फ इस संस्था को बल्कि आम और जरूरतमंद लोगों को मिलेगा। बिजली की व्यवस्था, पेयजल की व्यवस्था, कार्यालय में एक ऑफिस अटेंडेंट की तैनाती, समय-समय पर दिव्यांगजनों के बीच जरूरी उपकरणों का वितरण, आपदा से जुड़े प्रशिक्षण के साथ आाम लोगों को इसका महत्व बताने की जरूरत है।

लोगों की मदद करना ही रेड क्रॉस का लक्ष्य

भागलपुर। इंडियन रेडक्रॉस सोसाइटी, भागलपुर के चेयरमैन अशोक जीवराजिका ने बताया कि भागलपुर रेडक्रॉस सोसाइटी के द्वारा सेवा से जुड़े कार्यों को कराया जाता है। जिससे आपदा की स्थिति में लोगों को जरूरी मदद मुहैया हो और तात्कालिक रूप से पीड़ितों को राहत मिल सके। उन्होंने बताया कि वैसे तो रेड क्रॉस सोसाइटी की स्थापना 1863 ई. में स्विट्जरलैंड में हुई। लेकिन भागलपुर में इस संस्था की स्थापना और पहली बैठक डीएम कार्यालय कक्ष में 1996/97 में हुई थी। डीएम ही रेडक्रॉस सोसाइटी के अध्यक्ष होते हैं। जबकि चुनाव द्वारा चुनी गई कार्यकारिणी में चेयरमैन, उपाध्यक्ष और सचिव कई पदाधिकारी और कार्यकारिणी सदस्य भी शामिल होते हैं। उन्होंने बताया कि वर्तमान में कार्यरत रेडक्रॉस प्रबंध कार्यकारिणी समिति का चयन 26 नवंबर 2023 के चुनाव के बाद संपन्न हुआ।

कार्यक्रम कराने में होती है हमलोगों को परेशानी

भागलपुर। इंडियन रेडक्रॉस सोसाइटी, भागलपुर के सचिव प्रवीण कुमार झा ने बताया कि करीब 12 कट्ठा के एरिया में फैले रेडक्रॉस भवन परिसर में करीब चार कट्ठा में रेडक्रॉस सोसाइटी का भवन बना हुआ है, लेकिन अतिक्रमण के कारण वहां नियमित रूप से कार्यक्रम कराने में उन लोगों को काफी परेशानी होती है। कोरोना महामारी के समय में भागलपुर रेड क्रॉस भवन में 47 बिहार बटालियन एनसीसी का अस्थायी कार्यालय खोला गया। जो आज भी यहीं पर संचालित हो रहा है। मुख्य रूप से उन लोगों द्वारा रक्तदान शिविर और बाढ़ पीड़ितों समेत आपदा के समय में रेड क्रॉस सोसाइटी के वॉलेंटियर सक्रिय भूमिका निभाते हैं। इसके तहत सबौर, सिहकुंड, खरीक, मसाढू कटाव पीड़ित क्षेत्र, बिशनपुर दियारा, रंगरा, समेत कई जगहों पर सीमित संसाधनों में पीड़ितों को जरूरी सामग्री और सहायता पहुंचायी जाती है।

मिशन मोड पर काम कर आगे बढ़ाया सेवा कार्य

भागलपुर। इंडियन रेडक्रॉस सोसाइटी, भागलपुर के उपाध्यक्ष डॉ. अजय कुमार सिंह ने बताया कि किसी भी कार्य को संचालित करने के लिए सभी को एकजुट होकर कार्य करना होगा, जिससे सेवा कार्य को मिशन मोड में आगे बढ़ाया जा सके। भागलपुर में रेडक्रॉस सोसायटी को सशक्त करने के लिए इससे अधिक संख्या में लोंगों को जोड़ना होगा, ताकि अधिक से अधिक लोग इसके बारे में जानकर सेवा कार्य से जुड़ें और खुद को गौरवान्वित महसूस कर सकें। लोगों को समाज सेवा के प्रति जागरूक करने से भी रेडक्रॉस के उद्देश्यों की पूर्ती होती है। रेड क्रॉस कार्यालय में बिजली कनेक्शन और पीने के पानी की व्यवस्था सुनिश्चित हो इसके लिए सामूहिक प्रयास होना चाहिए, जिससे आने वाले पदाधिकारियों, किसी विभाग से जुड़े कर्मियों, वॉलेंटियर, दिव्यांगजनों, आपदा से प्रभावित लोगों को तत्काल राहत और सुविधा मिल सके।

जिला प्रशासन संस्था की करे मासिक बैठक

भागलपुर। इंडियन रेडक्रॉस सोसाइटी, भागलपुर के कार्यकारिणी सदस्य प्रदीप कुमार झुनझुनवाला ने बताया कि जिला स्तर पर रेडक्रॉस सोसायटी के अध्यक्ष जिलाधिकारी होते हैं और जिला प्रशासन द्वारा संस्था के पदाधिकारियों और सदस्यों की मासिक बैठक बुलाकर चर्चा करनी चाहिए। जिससे अलग- अलग मुद्दे और समस्याओं पर विस्तार से चर्चा कर मानवता की सेवा के लिए पीड़ितों को जरूरी साधन मुहैया करायी जा सके। उन्होंने बताया कि अगलगी की घटना, बाढ़ या कटाव की समस्या या दिव्यांगजनों को किसी प्रकार के उपकरण की जरूरत हो, इन सभी बातों पर ध्यान देकर जरूरतमंदों की सेवा एवं सुविधा मुहैया कराना जरूरी है। दिव्यांगजनों के लिए ट्राईसाइकिल या अन्य तरह के उपकरण उपलब्ध कराने के लिए स्थानीय स्तर पर जिला प्रशासन को सहयोग की पहल करनी चाहिए।

इनकी भी सुनिए

रेडक्रॉस सोसायटी पटना यूनिट या राज्य से सहायता मिलने पर किसी प्रकार के आपदा की स्थिति में पीड़ित परिवार की मदद के लिए हमेशा तत्पर रहते हैं। अधिक लोगों को संस्था से जोड़ने के लिए प्रयास किया जा रहा है।

घनश्याम कोटरीवाल

रेडक्रॉस सोसायटी, भागलपुर द्वारा लोगों की सहायता को लेकर करीब दो दशक पूर्व तक संस्था के खाते में रजिस्ट्री कार्यालय और जिला परिवहन कार्यालय से सहयोग राशि प्राप्त होती थी। जिसे बंद कर दिया गया है।

प्रदीप जैन

रेडक्रॉस का मूल उद्देश्य सेवा कार्य करना है और इसके लिए सबसे महत्वपूर्ण है आर्थिक सहयोग का मिलना। लेकिन संस्था में कम सदस्य होने के कारण फिलहाल कई तरह की परेशानी होती है।

विपिन सिंह

भागलपुर रेडक्रॉस भवन में पहले की तुलना में सेवा कार्य से जुड़े अधिक आयोजन नहीं हो पाते हैंं। संस्था को अगर जिला प्रशासन के द्वारा आर्थिक सहयोग उपलब्ध कराया जाय तो सेवा कार्य में काफी सहूलियत होगी।

नीरज राय

रेडक्रॉस भवन में एक्सरे मशीन की व्यवस्था होने से जरूरत पड़ने पर गरीबों को निशुल्क सुविधा का लाभ मिल सकेगा। कई ऐसे लोग होते हैं, जिन्हें पैसा के अभाव में एक्सरे जैसी जांच कराना भी मुश्किल हो जाता है।

आनन्द राज

अगलगी की घटना के कारण अक्सर लोगों को तबाही का सामना करना पड़ता है। इसके लिए रेडक्रॉस सोसायटी जैसी संस्थाओं के साथ मिलकर काम करने की जरूरत है। जिससे पीड़ित परिवरों मदद पहुंचाई जा सके।

मृत्युंजय कुमार

रेडक्रॉस भवन की हालत ठीक है। लोगों में इसके प्रति जागरूकता के अभाव और आर्थिक स्थिति कमजोर होने के कारण कम कार्यक्रम होते हैं। दुनिया में रेडक्रॉस सोसायटी सेवा और समर्पण के लिए जानी जाती है।

आकांक्षा प्रिया

जब कभी भी आपदा की स्थिति बनती है तो रेडक्रॉस सोसायटी के माध्यम से पीड़ितों की मदद के लिए काम किया जाता है। मानवता के लिए रेडक्रॉस जैसी संस्थाओं को आगे ले जाने के लिए प्रशासन का सहयोग मिलना चाहिए।

अनु कुमारी

मेगा कैंप लगाकर रेडक्रॉस सोसायटी द्वारा दिव्यांगजनों के बीच व्हील चेयर, कैलिपर, समेत कई तरह के उपकरण मुहैया कराया जाना चाहिए। इसके लिए संस्था के सदस्यों को भी हर तरह से सेवा के लिए आगे आना होगा।

रवि किरण

भागलपुर रेडक्रॉस भवन में बिजली का कनेक्शन नहीं हैं, इसके कारण गर्मी के दिनों में यहां किसी भी गतिविधि में परेशानियों होती है है। संस्था के भवन में बिजली कनेक्शन सुनिश्चित करने की जरूरत है।

अभिषेक आनंद

गरीब परिवार के लोगों की मौत हो जाने पर कई बार जरूरत पड़ने पर मॉर्चरी की सुविधा नहीं मिल पाती है। अगर प्रशासन की ओर से रेडक्रॉस भवन में मोर्चरी व्यवस्था की जाय तो लावारिस शवों पहचान के लिए रखा जा सकेगा।

अखिलेश कुमार

रेडक्रॉस भवन समेत पूरे परिसर को अतिक्रमण से मुक्त कराया जाना चाहिए, ताकि उस स्थान का उपयोग आपदा से जुड़े कार्यों में किया जा सके। जिला प्रशासन के द्वारा संस्था को सबल बनाने के लिए कार्य करने जरूरत है।

चंदन कुमार सिंह

बोले जिम्मेदार

रेडक्रॉस सोसाइटी एक स्वयंसेवी संगठन (एनजीओ) है। जिला प्रशासन द्वारा रेडक्रॉस को आर्थिक मदद दिए जाने का प्रावधान ही नहीं है। राज्यपाल के निर्देश पर जिला प्रशासन ने ही नई प्रबंध कमेटी के लिए चुनाव कराया था। रेडक्रॉस परिसर को मजिस्ट्रेट की मदद से अतिक्रमण मुक्त भी कराया था। पुरानी कमेटी से चाबी लेकर नई कमेटी को दी गई थी। नई कमेटी को चाहिए कि वे वहां नियमित बैठें और सोसाइटी का काम देखे। संस्था के खाते में रजिस्ट्री या डीटीओ कार्यालय से सहयोग राशि मिलने की जानकारी नहीं है। किस नियम से पहले मिल रही थी, इसका पता लगाएंगे। सोसाइटी को हमेशा ही प्रशासन से मदद मिलता रहा है। - कुमार मिथिलेश प्रसाद सिंह, प्रभारी पदाधिकारी, सामान्य शाखा।

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