आतंकवाद के खिलाफ केंद्र के अभियान में लोकल पॉलिटिक्स न घसीटें: राउत को शरद पवार की नसीहत
शरद पवार ने इस बात पर जोर दिया कि इस तरह के फैसले पार्टी लाइन के आधार पर नहीं लिए जाने चाहिए। उन्होंने अंतरराष्ट्रीय मामलों में एकीकृत राष्ट्रीय दृष्टिकोण बनाए रखने के महत्व पर जोर दिया।

राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (SP) के अध्यक्ष शरद पवार ने सोमवार को शिवसेना (उद्धव गुट) के सांसद और नेता संजय राउत को एक तरह से आड़े हाथों लेते हुए उन्हें भारत के वैश्विक संपर्क प्रयासों में ‘स्थानीय स्तर की राजनीति’ नहीं लाने की सलाह दी है। पवार ने ऑपरेशन सिंदूर के सिलसिले में विदेश भेजे गए भारतीय सांसदों के राजनयिक प्रतिनिधिमंडल के बारे में शिवसेना (यूबीटी) नेता संजय राउत की टिप्पणी की आलोचना की है। दरअशल, संजय राउत ने एक दिन पहले विभिन्न देशों में प्रतिनिधिमंडल भेजने के केंद्र के कदम का बहिष्कार करने का आह्वान किया था।
पवार ने याद दिलाया कि वह पूर्व प्रधानमंत्री पी वी नरसिम्हा राव द्वारा भाजपा नेता अटल बिहारी वाजपेयी के नेतृत्व में संयुक्त राष्ट्र में भेजे गए प्रतिनिधिमंडल के सदस्य थे। पूर्व रक्षा मंत्री ने बारामती में संवाददाताओं से कहा, ‘‘जब अंतरराष्ट्रीय मुद्दे सामने आते हैं तो पार्टी स्तर की राजनीति नहीं करनी चाहिए। आज केंद्र ने कुछ प्रतिनिधिमंडल गठित किए हैं और उन्हें कुछ देशों में जाकर पहलगाम हमले पर भारत के रुख और उसके बाद पाकिस्तान की ओर से की गई गतिविधियों के बारे में जानकारी देने का काम सौंपा गया है।’’
संजय राउत ने बहिष्कार का किया था आह्वान
राउत ने रविवार को कहा था कि विपक्षी गुट ‘इंडिया’ के घटक दलों को विभिन्न देशों में सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडल भेजने के केंद्र सरकार के कदम का बहिष्कार करना चाहिए। राउत ने दावा किया कि वे सरकार के ‘पापों और अपराधों’ का बचाव करेंगे। पवार ने कहा कि राउत को अपनी राय रखने का अधिकार है। उन्होंने कहा, ‘‘लेकिन उनकी पार्टी (शिवसेना-उबाठा) का एक सदस्य प्रतिनिधिमंडल का हिस्सा है। मुझे लगता है कि स्थानीय स्तर की राजनीति को इस मुद्दे में नहीं लाया जाना चाहिए।’’
प्रतिनिधिमंडल में शिवसेना और एनसीपी की भी एक-एक सांसद
महाराष्ट्र में विपक्षी दल महा विकास आघाडी (एमवीए) में शिवसेना (उबाठा), कांग्रेस और शरद पवार के नेतृत्व वाली राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एसपी) शामिल हैं। राकांपा (एसपी) की कार्यकारी अध्यक्ष और बारामती से सांसद सुप्रिया सुले ऐसे एक प्रतिनिधिमंडल का हिस्सा हैं जिसमें उनके साथ शिवसेना (उबाठा) की नेता प्रियंका चतुर्वेदी भी हैं। प्रस्तावित पुरंदर हवाई अड्डे के लिए कुछ किसानों द्वारा अपनी जमीन देने से इनकार किए जाने के बारे में पूछे जाने पर पवार ने कहा कि वह क्षेत्र के स्थानीय प्रतिनिधियों की बैठक बुलाकर इस मुद्दे को सुलझाने का प्रयास करेंगे।