मां-बाप अपने बच्चों से रोजाना जरूर कराएं ये 5 काम, सफल जीवन के लिए हैं बहुत जरूरी
- बचपन से ही यदि पैरेंट्स अपने बच्चों में कुछ आदतें डाल दें तो ये उनके जीवनभर बड़े काम आती हैं। बच्चों को सफल भविष्य देना चाहते हैं तो बचपन से ही ये काम करवाने शुरू कर देने चाहिए।

एक बच्चा अपने जीवन में कितना आगे बढ़ेगा और कैसा इंसान बनेगा, ये काफी हद तक उसके पैरेंट्स के हाथों में होता है। कम उम्र से ही उसे जैसे संस्कार और आदतें अपने मां-बाप से सीखने को मिलती हैं, कहीं ना कहीं वो ही उसके भविष्य की नींव भी रखती हैं। इसलिए बचपन से ही बच्चों के डेली रूटीन में छोटी-छोटी लेकिन जीवन पर गहरा असर डालने वाली कुछ आदतें जरूर शामिल करनी चाहिए। अमूमन ज्यादातर पैरेंट्स बच्चों की पढ़ाई और कुछ बेसिक बातों पर ही गौर करते हैं, जो कि जरूरी भी है। लेकिन इसके साथ ही कुछ एक्टिविटीज भी बच्चे के डेली रूटीन में शामिल करना जरूरी है, जो उसे कई सोशल स्किल्स और बेहतर जीवन जीने की ओर प्रेरित करेंगी। साथ ही यही आदतें बच्चे के भविष्य पर भी गहरा पॉजिटिव इंपैक्ट डालेंगी। तो चलिए जानते हैं वो कौन से काम हैं जो बच्चों से डेली कराने चाहिए।
बच्चों में डालें रोज प्रार्थना करने की आदत
पैरेंट्स को अपने बच्चों में कम उम्र से ही रोजाना प्रार्थना करने की आदत डालनी चाहिए। इसके कई फायदे होते हैं, एक तो बच्चा आपकी संस्कृति को बेहतर ढंग से समझता है और दूसरा बच्चे को इमोशनल सपोर्ट भी मिलता है। रोजाना प्रार्थना करने से बच्चे के मन में डर और एंग्जाइटी जैसी भावनाएं कम होती हैं और वो मेंटली बेहतर रहते हैं। इससे बच्चे में ग्रेटीट्यूड की भावना भी बढ़ती है और ये छोटी सी आदत उन्हें जीवनभर इमोशनली काफी मदद करती है।
घर में कामों में लें बच्चों की मदद
बच्चों की उम्र के मुताबिक उन्हें घर के छोटे-मोटे काम भी जरूर सौंपने चाहिए। इससे बच्चों में एक जिम्मेदारी वाली भावना भी आती है और साथ ही वो आत्मनिर्भर भी बनते हैं। बच्चा छोटा है तो उसे अपने खिलौने अरेंज करने को कहें या अपना बेड बनाने का टास्क दें। बच्चा बड़ा है तो धीरे-धीरे उसे बर्तन धोने या खाना बनाने का काम सौंपे। आप बच्चों को बाहर ग्रॉसरी शॉपिंग के लिए भी भेज सकते हैं। कुल मिलाकर बच्चों पर कुछ जिम्मेदारियां जरूर डालें और उन्हें नई-नई बेसिक स्किल्स सिखाते रहें।
बच्चों में डालें परिवार के साथ बैठकर खाने की आदत
पहले के समय में पूरा परिवार साथ बैठकर खाना खाता था। खूब हंसी-मजाक होता था और घर में किसी के साथ कोई समस्या चल रही होती थी, तो उसका हल भी वहीं निकाल लिया जाता था। लेकिन आजकल ज्यादातर परिवारों में सब अलग-अलग बैठकर अपने फोन में लगे हुए ही खाना खाते हैं। इसका साफ असर फैमिली बॉन्डिंग पर भी पड़ा है। ऐसे में पैरेंट्स को कोशिश करनी चाहिए कि बचपन से बच्चे को फैमिली के साथ खाना खाने की आदत डालें। इससे रिश्ता तो मजबूत होगा ही, साथ में बच्चा अपनी परेशानियां, अपने मन में चल रही बातें आपके सामने रखेगा। इसके अलावा बच्चे की ईटिंग हैबिट्स भी इंप्रूव होंगी।
बच्चों से करें उनके और अपने दिन के बारे में बात
रात में सोने से पहले पैरेंट्स को अपने बच्चों के साथ कुछ देर जरूर बैठना चाहिए। ये बेस्ट टाइम होता है जब आप अपने बच्चे के साथ इमोशनली कनेक्ट हो सकते हैं और अपने बॉन्ड को और मजबूत बना सकते हैं। इस दौरान बच्चे से जरूर पूछें कि उनका दिन कैसा गया और आपका दिन कैसा गया ये भी उन्हें बताएं। इससे बच्चा आपके सामने दिल खोलकर अपनी सभी बातें आपसे शेयर करेगा और आपके बारे में ढेरों सवाल भी करेगा। इससे होगा यूं कि आप दोनों की आपसी समझ और इमोशनल कनेक्शन काफी स्ट्रांग होगा। साथ ही बच्चे की कम्युनिकेशन स्किल्स भी इंप्रूव होंगी।
बच्चों में डालें ग्रेटीट्यूड की भावना
रोजाना रात में सोने से पहले बच्चे को ग्रेटीट्यूड जर्नलिंग करने को कहें। इसे ज्यादा फॉर्मल तरीके से करने की जरूरत नहीं है। आप सिंपल उनसे कहें कि वो भगवान या यूनिवर्स को अपने जीवन के लिए शुक्रिया कहें। आप उनसे कोई भी पांच चीजों की लिस्ट बनाने को कह सकते हैं, जिसके लिए वो भगवान को शुक्रिया कहना चाहते हों। कुल मिलाकर बच्चे में एक ग्रेटीट्यूड की भावना को प्रेरित करना है। इससे बच्चे का जीवन को ले कर एक सकारात्मक नजरिया बनेगा, वो मेंटली काफी हैप्पी और रिलैक्स भी रहेंगे। ये आदत सिर्फ अभी नहीं बल्कि जीवनभर बच्चे के बहुत काम आने वाली है।
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