पहलगाम हमले के बाद कश्मीरी पंडितो को लेकर सरकार चिंतित, क्या दिए आदेश
प्रधानमंत्री पैकेज के तहत तैनात कर्मचारी अधिकतर प्रवासी कश्मीरी पंडित हैं, जो जम्मू-कश्मीर में विभिन्न सरकारी विभागों में काम कर रहे हैं।
जम्मू-कश्मीर के बारामूला जिले में प्रशासन ने एससी-एसटी श्रेणी के कर्मचारियों और प्रधानमंत्री पैकेज के तहत तैनात कर्मचारियों को एक सप्ताह तक घर से काम (वर्क फ्रॉम होम) करने का निर्देश दिया है। यह आदेश उस दर्दनाक आतंकी हमले के ठीक एक दिन बाद आया है, जिसमें अनंतनाग जिले के पहलगाम इलाके में 28 पर्यटकों की जान चली गई।
बारामूला के मुख्य शिक्षा अधिकारी की ओर से बुधवार को जारी किए गए आदेश में कहा गया है कि, “प्रधानमंत्री पैकेज के तहत तैनात सभी कर्मचारियों और जम्मू में रहने वाले आरक्षित श्रेणी (एससी/एसटी) के सभी कर्मचारियों को तत्काल प्रभाव से 27 अप्रैल तक घर से काम करने की अनुमति दी जाती है।”
यह फैसला सावधानी और सुरक्षा के लिहाज से लिया गया है, ताकि किसी भी संभावित खतरे से कर्मचारियों की जान-माल की सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके।
कौन हैं ये कर्मचारी?
प्रधानमंत्री पैकेज के तहत तैनात कर्मचारी अधिकतर प्रवासी कश्मीरी पंडित हैं, जो जम्मू-कश्मीर में विभिन्न सरकारी विभागों में काम कर रहे हैं। वहीं, एससी और एसटी श्रेणी के कर्मचारी अधिकतर जम्मू में बसे हुए हैं और राज्य के विभिन्न जिलों में नियुक्त हैं।
क्यों लिया गया यह फैसला?
मंगलवार को पहलगाम में हुए आतंकी हमले ने घाटी में फिर से सुरक्षा को लेकर चिंता बढ़ा दी है। ऐसे में बारामूला प्रशासन का यह कदम एहतियातन माना जा रहा है, जिससे कि संवेदनशील इलाकों में तैनात कर्मचारियों को सुरक्षित रखा जा सके।